छत्तीसगढ़ सरकार ने राज्य स्थापना पर दिए जाने वाले अलंकरण श्रेणी में 3 नए पुरस्कार शामिल किए हैं। यह पुरस्कार लोक कलाकार स्व. लक्ष्मण मस्तुरिया व स्व. खुमान साव और भगवान राम की माता कौशल्या को समर्पित होंगे। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने विजयदशमी पर्व पर बुधवार को इन नए पुरस्कारों की घोषणा की है। उन्होंने कहा है कि लोक संस्कृति के साधकों की साधना से नए कलाकारों को प्रेरित करने के इन पुरस्कारों की शुरुआत की जा रही है।
छत्तीसगढ़ हर साल एक नवंबर को अपना राज्य स्थापना दिवस मनाता है। इसी दिन राज्य सरकार अलंकरण पुरस्कार प्रदान करती है। मुख्यमंत्री बघेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ अपनी प्राचीन, समृद्ध सांस्कृतिक विरासत और जीवंत संस्कृति के लिए प्रसिद्ध है। यहां के लयबद्ध संगीत, लोकगीत और लोक नाट्य अद्भुत आनंद की अनुभूति कराते हैं। लोक संस्कृति के जिन साधकों ने इसे जीवंत बनाए रखने में अपना जीवन समर्पित किया है, उन्हें सम्मानित करना राज्य सरकार का परम कर्तव्य है।
इन श्रेणियों में मिलेंगे पुरस्कार
1. 'लक्ष्मण मस्तुरिया पुरस्कार' : लोकगीत के क्षेत्र में
2. 'खुमान साव पुरस्कार' : लोक संगीत के क्षेत्र में
3. 'माता कौशल्या सम्मान' : श्रेष्ठ रामायण (मानस) मंडली को
CM भूपेश बघेल ने कहा कि प्रदेश की लोकगीत और लोक संगीत की महान विरासत के संरक्षण व संवर्धन और इस क्षेत्र में काम कर रहे नए कलाकारों को प्रेरित करने के लिए राज्य सरकार की ओर से राज्य अलंकरण के रूप में तीन नए पुरस्कार भी दिए जाएंगे। मुख्यमंत्री बघेल ने कहा कि, राज्य की संस्कृति के ध्वज वाहकों के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करने और उनके नाम पर पुरस्कार संस्थित किए जाने से उन महान कलाकारों के योगदान की जानकारी भी भावी पीढ़ी को होगी।