लखनऊ
उत्तर प्रदेश के सरकारी अस्पतालों और मेडिकल कॉलेजों को जल्द 3014 स्टाफ नर्सें मिलने जा रही हैं। उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग के जरिए इनका चयन हो चुका है। मगर विडंबना यह है कि जितने पदों पर चयन के लिए आयोग द्वारा परीक्षा कराई गई थी, उसमें से 36 फीसदी से ज्यादा खाली ही रह गए। स्टाफ नर्स की परीक्षा में शामिल हुए एक लाख से ज्यादा अभ्यर्थियों में से 4743 भी सफल नहीं हो सके।
लोक सेवा आयोग द्वारा कराई गई स्टाफ नर्स की भर्ती परीक्षा में प्रदेश के नर्सिंग और पैरामेडिकल कॉलेजों में कराई जा रही पढ़ाई की कलई खोल दी है। जिस परीक्षा में एक लाख से ज्यादा अभ्यर्थी शामिल हुए उसमें से 4743 भी सफल नहीं हो सके। इस प्रवेश परीक्षा में 102041 अभ्यर्थी शामिल हुए थे। मगर परीक्षा पास सिर्फ 3041 ही कर सके। इसमें से करीब 1390 प्रदेश के मेडिकल कॉलेजों के लिए चिकित्सा शिक्षा विभाग को मिलेंगी। महानिदेशक चिकित्सा शिक्षा डा. एनसी प्रजापित की मानें तो 20 अप्रैल तक यह स्टाफ नर्सें विभाग को मिल जाएंगी।
हालात सुधारने में जुटा विभाग
चिकित्सा शिक्षा विभाग प्रदेश में नर्सिंग की पढ़ाई के हालात सुधारने में जुटा है। तमाम मानक पूरे करने वाले नर्सिंग और पैरामेडिकल कॉलेजों को ही तरजीह दी जा रही है। विभाग ने बीते दो महीने में 1160 ऐसे कॉलेजों का औचक निरीक्षण कराया है। इसमें से महज 23 फीसदी ही तय मानकों को पूरा कर पाए हैं। जबकि 20 फीसदी ने अपने आवेदन ही वापस ले लिए।