क्लस्टर निर्माण से प्रदेश में निवेश और निर्यात के साथ रोजगार के अवसर बढेंगे : मंत्री सखलेचा
भोपाल
सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम एवं विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री ओम प्रकाश सखलेचा ने मंत्रालय में बुधवार को क्लस्टर उद्योग के संबंध में खिलौने बनाने वाली कंपनी हेमले और फर्स्ट क्राय के प्रतिनिधियों के साथ वर्चुअल मीटिंग की। मीटिंग में एमएमएसई विभाग की सपोर्ट टीम के डायरेक्टर विशेष गढ़पाले एवं टीम के अन्य प्रतिनिधि भी शामिल हुए।
मंत्री सखलेचा ने कहा कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व में प्रदेश में एक नया परिवर्तन देखने को मिल रहा है। उद्योगपतियों को बढ़ावा देने के लिये प्रदेश में क्लस्टर विकास के माध्यम से उत्पादन की लागत कम किये जाने के प्रयास किये जा रहे हैं। इसमें ऊर्जा, परिवहन, इन्वेंटरी, भूमि आदि की लागत में कमी लाने के साथ निपुणता लाने के लिये शासन द्वारा विभिन्न योजनाओं का संचालन किया जा रहा है। साथ ही टॉय क्लस्टर के लिए प्रस्तावित जगह इंदौर और बुधनी को उपयोगी बताया है, जहाँ प्रोडक्शन से परिवहन और रोजगार संबंधी सभी सुविधाएँ उपलब्ध है।
फर्स्ट क्राय और हेमले कंपनी ने दिखाई रुचि
टॉय क्लस्टर डेवलपमेंट के संबंध में हुई बैठक में फर्स्ट क्राय बेबी प्रोडक्ट कंपनी के सीईओ सुपम महेश्वरी और हेमले टॉय कंपनी के प्रतिनिधि मनु शर्मा शामिल हुए। दोनों कंपनी के प्रतिनिधियों ने प्रदेश में प्रस्तावित इंदौर एवं बुधनी में टॉय क्लस्टर के लिए अपनी दिलचस्पी दिखाई। साथ ही प्रदेश में निवेश के वातावरण को अनुकूल बताते हुए जल्द ही क्लस्टर में अपने प्रोडक्शन को शामिल करने की बात कही। इससे प्रदेश के टॉय क्लस्टर में मेन्युफैक्चरिंग बढ़ेगी और उद्योग संबंधी निवेश भी बढ़ेगा।
मंत्री सखलेचा ने कहा कि मध्यप्रदेश देश का हृदय प्रदेश है। हमारी सबसे बड़ी ताकत हमारी कनेक्टिविटी है। हमारी स्ट्रैटेजिक लोकेशन हमें देश का प्रोडक्शन एवं लॉजिस्टिक हब बनने की क्षमता प्रदान करती है। उन्होंने कहा कि शासन का लक्ष्य है कि 2022 तक सभी औद्योगिक क्लस्टर प्रारंभ कर दिये जायें। कार्यशाला में हम नयी सोच, सुझाव एवं संकल्पों के साथ उत्पादन क्षमता और रोजगार की संभावनाओं को बढ़ाने की दिशा में चर्चा करेंगे।