तमिलनाडु में चक्रवाती तूफान का खतरा मंडराने लगा है। बंगाल की खाड़ी में बना कम दबाव का क्षेत्र गहरे दबाव में बदल गया है और यह गुरुवार शाम तक 'मैंडूस' नामक चक्रवाती तूफान में तब्दील हो जाएगा। इस तूफान का असर उत्तरी तमिलनाडु, पुड्डुचेरी और निकटवर्ती दक्षिण आंध्र प्रदेश के तटों पर होगा। अगले 48 घंटे में यह विकराल रूप ले सकता है। तमिलनाडु के उत्तरी तटीय जिलों में अगले तीन दिनों तक बहुत भारी बारिश होने की संभावना है।
राज्य सरकार ने किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए अपनी पूरी मशीनरी को तैयार कर लिया है। वहीं तूफान के खतरे को देखते हुए सावधानी बरती जा रही है। राज्य के सभी जिला कलेक्टरों को तैयार रहने का निर्देश दिया है और छह जिलों में राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) की टीमें तैनात की गई हैं।
5000 से अधिक राहत शिविर
राज्य सरकार ने तूफान की आशंका वाले जिलों में 5,000 से अधिक राहत शिविर खोले हैं, जिनमें निचले इलाकों से निकाले गए लोगों को रखा गया है। शिविर में रह रहे लोगों को भोजन, पेयजल और स्वास्थ्य सहित सभी बुनियादी सुविधाएं प्रदान की गई हैं। बारिश के प्रभाव की निगरानी के लिए चौबीसों घंटे एक नियंत्रण कक्ष भी खोला गया है, जो अगले दो दिनों तक होने वाले भारी बारिश तथा उसके कारण होने वाले असर पर नजर बनाये रखेगा।
चेन्नई में हल्की बारिश शुरू
बंगाल की खाड़ी के ऊपर चक्रवाती तूफान के प्रभाव से तमिलनाडु के चेन्नई में हल्की बारिश शुरू हो गई है। मौसम विभाग के अनुसार, 9 दिसंबर की मध्यरात्रि के आसपास 70 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से हवा चलने की उम्मीद है।