भोपाल
बूथ विस्तारक योजना के जरिये बूथों तक पहुंची भाजपा मिशन 2023 फतह के लिए अब बूथ में निवास करने वाले अलग-अलग जाति, धर्म के लोगों का डेटा भी जुटा रही है। पार्टी की बूथ समिति और पन्ना समिति के माध्यम से यह रिपोर्ट जिला, प्रदेश संगठन के साथ केंद्रीय नेतृत्व तक के पास मौजूद रहेगी कि किस विधानसभा के किस बूथ में किस जाति,धर्म और किस वर्ग के कितने वोटर हैं? पार्टी का मानना है कि पिछले उपचुनावों के दौरान सामाजिक सम्मेलन करने की पार्टी की रणनीति में ये जानकारी फायदेमंद रहेगी। साथ ही सरकारी योजनाओं के बनाने और उसके क्रियान्वयन में सरकार की मदद भी इसके जरिये हो सकेगी। भाजपा की बूथ विस्तारक योजना की शुरुआत 20 जनवरी से हो चुकी है और इसके लिए 20 हजार विस्तारक 9 हजार ग्राम नगर केंद्रों के जरिये सभी 65 हजार बूथों पर पहुंचने वाले हैं।
इस अभियान के शुरू होने के बाद यह भी साफ हो गया है कि पार्टी बूथ स्तर से कौन से जानकारी जुटाना चाहती है ताकि भविष्य में चुनावी रणनीति के हिसाब से उसका उपयोग किया जा सके। संगठन एप में डेटा फीड कर 22 बिन्दुओं पर जानकारी संकलित करने का काम हर बूथ में विस्तारक कर रहे हैं। इसमें जो खास बात सामने आई है वह वोटर. कार्यकर्ता की जाति, धर्म, वर्ग के साथ उसके शासकीय और निजी सेवा में होने की जानकारी एकत्र करना है। पार्टी सूत्रों का कहना है कि विस्तारक यह जानकारी अलग से फीड करेंगे कि जिस बूथ में वे पहुंचे हैं वहां पुजारी, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, पंचायत सचिव कौन है? इसके पीछे भाजपा नेताओं का तर्क है कि सर्वस्पर्शी और सर्वव्यापी भाजपा के मंत्र के अनुसार प्रत्येक जाति, पंथ, मजहब और वर्ग को बूथ से जोड़कर बूथ को मजबूत करने का काम किया जाएगा। इसलिए यह तो पार्टी को पता ही होना चाहिए कि किस क्षेत्र में किस जाति, धर्म, वर्ग के लोग रहते हैं। इससे विकास और कल्याणकारी योजनाएं बनाने में भी सरकार को मदद मिल सकेगी।
बूथों की होगी ग्रेडिंग
पार्टी द्वारा चुनाव परिणामों के आधार पर बूथों का ग्रेडेशन भी किया गया है। जहां भाजपा को 70 प्रतिशत से अधिक वोट मिलते हैं वह ए ग्रेड बूथ होगा। इसके बाद बी और सी ग्रेड के बूथ भी तय होंगे। इस प्रकार से बूथ समिति बूथों को अपग्रेड करने का काम करेगी। संगठन एप में बूथ समिति, पन्ना समिति और की-वोटर्स का पंजीकरण किया जा रहा है उनके नाम, नंबर एवं पता सहित तमाम जानकारी रहेगी।
आदिवासी और ओबीसी को लेकर पहले किया काम
भाजपा ने पिछले आठ माह में प्रदेश में आदिवासी विकास और ओबीसी वर्ग को लेकर जानकारी जुटाने का काम किया है। इसके आधार पर आदिवासियों के विकास के लिए योजनाएं लागू करने का काम भाजपा सरकार कर चुकी है और ओबीसी को आरक्षण में वृद्धि की कवायद को लेकर डेटा कलेक्शन शासन स्तर पर किया जा रहा है। संगठन स्तर पर भी इसमें काम किया जा रहा है।