सीहोर : बारिश से आई बाढ़ ने सोयाबीन खराब कर दी, अब मुजावजे के लिए शुरू किया जल सत्याग्रह
सीहोर तहसील के किसानों के खेतों का नहीं हुआ सर्वे, बाढ़ के कारण हो गई किसानों की फसलें खराब
Sumit Sharma
सीहोर। सीहोर जिले में हो रही लगातार बारिश के कारण आई बाढ़ ने किसानों की फसलों को चौपट कर दिया। सोयाबीन की फसल पूरी तरह बर्बाद हो गई। मक्का सहित अन्य फसलों को भी जमकर नुकसान हुआ, लेकिन इसके बाद भी अब तक प्रशासन ने किसानों का सर्वे नहीं कराया। अब किसान मुआवजे की मांग कर रहे हैं। इसके लिए उन्होंने जल सत्याग्रह भी शुरू कर दिया है। शनिवार को बड़ी संख्या में किसानों ने कुलांस नदी में खड़े होकर जल सत्याग्रह करते हुए मुआवजे की मांग की है। अब जल्द ही किसान जिला मुख्यालय पर भी प्रदर्शन करने की तैयारी कर रहे हैं। उनकी प्रशासन से मांग है कि वे उनके खेतों में खराब हुई फसलों का सर्वे कराएं और उन्हें मुआवजा दें। पिछले दिनों हुई लगातार बारिश के कारण सीहोर तहसील के किसानों की फसलों को भी जमकर नुकसान हुआ है। प्रशासन ने सीहोर जिले की अन्य तहसीलों का सर्वे कराकर किसानों को मुआवजा देने की तैयारी कर ली है, लेकिन सीहोर तहसील का सर्वे नहीं कराया गया है। इसी को लेकर किसान लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं। उनकी मांग है कि उनके खेतों का भी सर्वे कराया जाए। दरअसल भोपाल के बड़े तालाब को भरने वाली सीहोर जिले की कुलांस नदी के समीपस्थ ग्राम कुलास खुर्द, कुलांस कलां, ढाबला, रामाखेड़ी, रलावती, नापली, चैनपुरा, बारवाखेड़ी, उल्झावन आदि गांव हैं। ये गांव भी भारी बरसात से आई बाढ़ से प्रभावित हुए हैं। बाढ़ से बर्वाद हुई खरीफ की फसल का सर्वे कराकर मुआवजे की मांग को लेकर ग्राम पंचायत के सरपंचों ने तहसीलदार एवं पटवारी को अवगत भी करा दिया गया था। इसके बावजूद भी इन गांवों की फसलों का न तो सर्वे किया गया और ना ही मुआवजा मिल सका, जबकि सीहोर जिले के ही बुधनी रेहटी, नसरुल्लागंज, श्यामपुर में 25 से 33 प्रतिशत की फसल की छति मानते हुए एवं इछावर तहसील में 49 किसानों को 50 प्रतिशत नुकसान का आंकलन कर कुल रुपए 9 करोड़ 80 लाख रुपए की फसल छति की मुआवजा राशि का प्रस्ताव बनाया गया है। इसके साथ ही फसल नुकसान की रिपोर्ट भी प्रशासन ने शासन को भी भेजी है। लगातार जारी रहेगा प्रदर्शन- ग्राम कुलांस खुर्द एवं कुलांस कला के आक्रोशित किसानों ने कुलांस नदी में उतरकर एक दिवसीय जल सत्याग्रह आंदोलन कर शासन-प्रशासन से मांग की है कि शीघ्र ही खराब हुई फसलों का सर्वे कराकर उचित मुआवजा दिलाया जाए। नदी के पानी में रहकर सत्याग्रह करने वालों में प्रमुख रूप से ग्राम पंचायत कुलांस खुर्द के सरपंच प्रतिनिधि मनोज वर्मा, ग्राम पंचायत कुलास कलां के सरपंच प्रतिनिधि राजेन्द्र वर्मा, पूर्व सरपंच रमेशचन्द्र वर्मा, उपसरपंच राहुल वर्मा, दिनेश वर्मा, 80 वर्षीय किसान भंवरजी, 90 वर्षीय बुजुर्ग बाबूलाल, 90 वर्षीय बनेसिंह दरबार, प्रभुदयाल वर्मा, थानसिंह वर्मा, छितर सिंह पटेल, सुंदर पटेल, मोहन वर्मा, संतोष राठौर, मोकम दरबार, हरिसिंह मेवाड़ा, रमेश परमार, भोलेराम प्रजापति, उमराव सिंह, भगवत सिंह सहित कुलांस कला एवं कुलास खुर्द के पीड़ित कृषक शामिल रहे। इनकी इस पीड़ा को देखते हुए समाज सेवी व किसान एमएस मेवाड़ा ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से आग्रह किया है कि शीघ्र ही इन बाढ़ प्रभावित किसानों की बर्वाद हुई फसलों का शीघ्र सर्वे कराकर इन्हें उचित आर्थिक साहयता प्रदान की जाए।