उपचुनाव के दौरान की घोषणा, वाटर कंजर्वेशन और नहर सिंचाई के लिए 1159 करोड़ का बजट प्रावधान
भोपाल
राज्य शासन ने किसानों को खेती में लाभान्वित करने के लिए और सिंचाई सुविधा देने के लिए बांधों और जलाशयों के निर्माण और पुनरुद्धार पर जोर दिया है। इसके चलते गुरुवार को पारित किए गए अनुपूरक बजट में 1159 करोड़ रुपए का प्रावधान जल संसाधन विभाग के अंतर्गत किया गया है। नहरों के जरिये पानी खेतों तक पहुंचाने और स्टाप डैम व अन्य निर्माण के जरिये जल संरक्षण का काम कराने के लिए सरकार यह राशि खर्च करेगी। इस अनुपूरक बजट में जल संसाधन विभाग के उन कामों पर भी बजट का प्रावधान किया गया है जहां लोकसभा और विधानसभा उपचुनाव के दौरान सिंचाई परियोजनाओं के लिए सीएम शिवराज सिंह चौहान ने घोषणाएं की हैं।
अनुपूरक बजट में किए गए प्रावधान में कहा गया है कि बरगी नहर डायवर्सन पर 140 करोड़, इंदिरा सागर परियोजना अंतर्गत नहर, सीएडी प्लान, एनएचडीसी और अन्य कामों के लिए 26.50 करोड़, ओंकारेश्वर परियोजना पर 80 करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे। इसके साथ ही रानी अवंती बाई सागर परियोजना पर 5.30 करोड़, लोवर गोई परियोजना के लिए 15 करोड़ खर्च किए जाएंगे। जल संसाधन विभाग ने इसके अलावा काली सिंध लिंक परियोजना के लिए 225 करोड़ और 57.20 करोड़ रुपए के दो अलग प्रावधान कर मंजूरी दिलाई है।
नर्मदा नदी के किनारे घाट बनाने के लिए 8 करोड़, नर्मदा पार्वती लिंक परियोजना के लिए 115.78 करोड़, जावर सिंचाई उद्वहन योजना के लिए 14 करोड़ के अलावा नाबार्ड से नर्मदा पार्वती लिंक परियोजना के लिए 400 करोड़, नर्मदा झाबुआ पेटलावद थांदला सरदारपुर उद्वहन सिंचाई परियोजना के लिए 115 करोड़, बिस्टान परियोजना के लिए 18 करोड़, भीकनगांव बिन्जलवाड़ा परियोजना के लिए 57 लाख, नागलवाड़ी परियोजना के लिए 40 करोड़ रुपए तय किए गए हैं। इन क्षेत्रों में उपचुनाव के दौरान सिंचाई परियोजनाओं को शुरू करने का निर्णय शिवराज सरकार ने लिया था और सीएम ने सभाओं के दौरान इसका ऐलान किया था। जोबट परियोजना पर भी दस लाख का प्रस्ताव है।