भोपालमध्य प्रदेश

चुनाव के लिए भाजपा कल से जुटाएगी धन, कांग्रेस टटोलेगी जनता का मन

भोपाल
प्रदेश भाजपा कल से अपने मेगा अभियान के जरिए 150 करोड़ रुपए का फंट जुटाने फील्ड में उतरेगी, वहीं कांग्रेस अगले चुनाव की तैयारियों को लेकर जनता के मन को टटोलेगी। चुनाव के लिए कांग्रेस को मुद्दों की तलाश है जिसे वो सोशल मीडिया पर तलाश रही है।

पार्टी का कार्पस फंड जुटाने के लिए प्रदेश भाजपा का अब तक का सबसे बड़ा धन संग्रह अभियान शुक्रवार से शुरू होने वाला है। इसको लेकर पार्टी द्वारा तय किए गए टारगेट अचीव करने शीर्ष नेताओं की टीम आज और कल सभी 57 संगठनात्मक जिलों के दौरे पर रहेगी। पंडित दीनदयाल उपाध्याय की पुण्यतिथि से शुरू होने वाले इस अभियान में 150 करोड़ रुपए एकत्र करने का टारगेट रखा गया है जिसमें सबसे अधिक 15 करोड़ इंदौर शहर और ग्रामीण जिला अध्यक्षों के खाते में रखा गया है।

कुशाभाऊ ठाकरे जन्मशती वर्ष में समर्पण निधि अभियान के रूप में यह कार्यक्रम शुरू किया जा रहा है जिसको लेकर पार्टी का सबसे अधिक फोकस बूथ पर है। इसीलिए प्रदेश संगठन ने तय किया है कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा समेत सभी नेता बूथों पर जाकर बूथ कमेटी का उत्साह बढ़ाने के साथ इन्हें समर्पण निधि संचय के लिए प्रेरित करने का काम 11 फरवरी को करेंगे। संगठन द्वारा इसके लिए बनाई गई 25 नेताओं की कमेटी में शामिल पदाधिकारियों को दो से तीन जिलों की जिम्मेदारी सौंपी है और 11 फरवरी तक विधानसभा स्तर और मंडल स्तर तक बैठकें करने के लिए कहा है। यहां बैठकें कर जिला अध्यक्षों, जिला प्रभारियों और जिला प्रबंध समिति को एक माह में एकत्र की जाने वाली राशि का टारगेट बताया जाएगा।

इंदौर जुटाएगा 15 करोड़, भोपाल पांच करोड़
इस अभियान में इंदौर शहर को 10 करोड़, इंदौर ग्रामीण को 5 करोड़ का टारगेट दिया गया है। भोपाल शहर को 4 करोड़ का टारगेट मिला है लेकिन पार्टी की ओर से जिला प्रभारी बनाए गए मंत्री भूपेंद्र सिंह ने एक करोड़ अतिरिक्त एकत्र करने का टारगेट दिया है। यानी भोपाल शहर से 5 करोड़ रुपए जुटाए जाएंगे। भोपाल ग्रामीण को 75 लाख से एक करोड़ रुपए तक की जिम्मेदारी सौंपी गई है। ग्वालियर शहर को चार करोड़ जुटाना है। इसी तरह मंझोले स्तर के जिलों को दो से तीन करोड़ जुटाने के टारगेट दिए गए हैं।

सोशल मीडिया पर आए मुद्दे बनेंगे कांग्रेस का विजन 2023
सोशल मीडिया पर आए मुद्दे कांग्रेस के लिए प्रदेश में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव में विजन 2023 का काम करेंगे। विधानसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस इस बार किसी प्रकार की कोई लापरवाही करने के मूड में नहीं दिख रही है। इसीलिए चुनावी मुद्दों के लिए अब कांग्रेस जनता की ही मदद लेने जा रही है ताकि जनता के बताए मुद्दों पर 2023 का चुनाव लडा जा सके। कांग्रेस सोशल मीडिया पर आने वाले मुद्दों पर अपना फोकस कर चुनाव की तैयारी करेगी।  

हालांकि सोशल मीडिया पर निर्भर रहने का कांग्रेस का दाव कांग्रेस पर ही उलटा पड़ जाता है। इसके पहले भी कांग्रेस ने भाजपा के मुख्यमंत्रियों की लोकप्रियता को लेकर ट्विटर पर एक सर्वे किया था। इसमें 8952 लोगों ने भाग लिया था। इसमें सर्वाधिक 44 प्रतिशत लोगों ने कहा कि वे उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ को फिर मुख्यमंत्री के रूप में देखना चाहते हैं। इसी तरह सबसे अधिक 69 प्रतिशत लोग मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, 92 प्रतिशत हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर और 95 प्रतिशत महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस को मुख्यमंत्री के रूप में चाहते हैं।

इन मुद्दों पर नजर  
इधर कांग्रेस को उम्मीद है कि बेरोजगारी, कुपोषण, महिला सुरक्षा, अनुसूचित जाति-जनजाति वर्ग के साथ हो रहे अत्याचार सहित अन्य मुद्दे हैं जो सोशल मीडिया पर टेंÑड कर रहे हैं और यही जनता की नजर में भी हैं। इन्हीं को 2023 विधानसभा चुनाव में जनता देखना चाहती है। 

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