आष्टा में पकड़ाई चना खरीदी की धांधली, रेहटी में भी जांच की दरकार

- पानी का छिड़काव कर चने का वजन बढ़ाने पर वेयरहाउस प्रबंधक निलंबित, तीन श्रमिकों को कार्य से हटाया

सीहोर। इस समय सीहोर जिलेभर में समर्थन मूल्य पर गेहूं एवं चना की खरीदी चल रही है। इस दौरान गड़बड़ियां भी जमकर की जा रही है। ऐसी ही गड़बड़ी जिले के आष्टा स्थित एमपीडब्ल्यूएलसी गोदाम क्रमांक-15 में सामने आई हैै। यहां पर चने पर पानी का छिड़काव कर वजन बढ़ाने की शिकायत मिलने पर कलेक्टर प्रवीण सिंह द्वारा जांच के निर्देश दिए गए थे। जांच दल की रिपोर्ट के आधार पर कलेक्टर प्रवीण सिंह ने मध्यप्रदेश वेयर हाउसिंग लॉजिस्टिक कार्पोंरेशन के प्रबंध संचालक को आष्टा के एमपीडब्ल्यूएलसी गोदाम क्रमांक-15 के प्रबंधक धर्मेंद्र परमार को निलंबित करते हुए कठोर अनुशासनात्मक कार्यवाही करने तथा दैनिक वेतन भोगियों श्रीधर तिवारी, राहुल वर्मा तथा दीपक मालवीय को कार्य से पृथक करने के लिए पत्र लिखा गया था। कलेक्टर प्रवीण सिंह के पत्र पर कार्यवाही करते हुए एमपीड्ब्ल्यूएलसी के प्रबंध संचालक ने एमपीडब्ल्यूएलसी गोदाम क्रमांक-15 आष्टा के प्रबंधक धर्मेंद्र परमार को निलंबित कर दिया है। इसके साथ ही तीनों दैनिक वेतन भोगियों को कार्य से हटा दिया गया है। जांच दल ने यह पाया कि प्रत्येक बोरी में 50 किलोग्राम वजन की तुलाई उपार्जन केन्द्र द्वारा की जाती है। बोरियों में पाए गए वजन में 41.900 किलोग्राम से 53.050 किलोग्राम तक पाए जाने से स्पष्ट होता है कि कुछ बोरियों में से चना निकाला गया है एवं कुछ बोरियों पर टैंकर से पानी का छिड़काव किया गया है। यह कृत्य प्रथम दृष्टया अपराध की श्रेणी में आता है। जांच के लिए अनुविभागीय अधिकारी आष्टा द्वारा चार सदस्यीय जांच दल गठित किया गया था। इसमें नायब तहसीलदार, कनिष्ठ आपूर्ति अधिकारी एवं प्रबंधक मार्कफेड को शामिल किया गया था। जांच दल के प्रतिवेदन के आधार पर शाखा प्रबंधक धर्मेन्द्र परमार, दैनिक वेतन भोगी श्रीधर तिवारी, राहुल वर्मा तथा दीपक मालवीय दोषी पाए गए।
रेहटी, बुदनी में भी जांच की दरकार-
इस समय गेहूं एवं चना की खरीदी जिलेभर में चल रही है। मप्र वेयर हाउसिंग कारपोरेशन बोरी कैप केे तहत भी रेहटी तहसील के करीब 80 से ज्यादा खरीदी केंद्र आते हैैं। इनमें से बोरी कैप सहित कई अन्य खरीदी केंद्रों पर भी चना की खरीदी की जा रही है। यहां पर भी जांच की दरकार है। यदि जांच हो तोे यहां पर भी बड़ी धांधली सामने आएगी। यहां बता देें कि मूंग, धान खरीदी में भी मप्र वेयर हाउसिंग कारपोरेशन बोरी कैप द्वारा बड़े पैमाने पर गड़बड़ियां की गईं हैैं, लेकिन जांच के नाम पर सिर्फ खानापूर्ति हो रही है। ऐसे मेें यहां की गड़बड़ियां सामने नहीं आ रही है।

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