खबर का असर: रेहटी पहुंची पशु रोग अन्वेषण प्रयोगशाला भोपाल की टीम, दोबारा लिया गाय का सैंपल
सीहोर हलचल ने प्रमुखता से दिखाई थी खबर
Sumit Sharma
सीहोर-रेहटी। सीहोर जिले के रेहटी स्थित किसान कल्याण सिंह धोरी के फार्म हाउस पर लम्पी बीमारी केे लक्षण वाली गाय का सैंपल दोबारा लिया गया है। इसके लिए भोपाल स्थित राज्य स्तरीय पशु रोग अन्वेषण प्रयोगशाला भोपाल की टीम पहुंची थी। टीम में शामिल विशेषज्ञों ने सैंपल लेकर आशंका जताई है कि गाय कोे लम्पी बीमारी होे सकती है। सुरक्षा की दृष्टि से विशेषज्ञ डॉक्टरों की टीम ने किसान कल्याण सिंह धोरी के फार्म हाउस पर मौजूद अन्य गायोें का वैक्सीनेशन भी किया है, ताकि वे इस बीमारी सेे सुरक्षित रह सकें। इसके अलावा लम्पी बीमारी के लक्षण वाली गाय का भी इलाज किया गया है। बताया जा रहा है कि गाय की बीमारी भी अब कुछ ठीक होने लगी है। यहां बता देें कि लम्पी बीमारी के लक्षण को लेकर सीहोर हलचल ने भी प्रमुखता से इस खबर कोे दिखाया था। इसके बाद प्रशासन भी हरकत में आया औैर गाय के इलाज को लेकर कवायद शुरू हुई। सीहोर जिले में गाय में लम्पी बीमारी के लक्षण का पहला मामला रेहटी में सामने आया था। हालांकि गाय केे सैंपल की रिपोर्ट अब तक नहीं आई है। अब दोबारा से गाय का सैंपल राज्य स्तरीय पशु रोग अन्वेषण प्रयोगशाला भोपाल के विशेषज्ञों द्वारा लिया गया है, जिसेे जांच के लिए भेजा गया है। जांच रिपोर्ट आनेे के बाद इसका पता चल सकेगा कि गाय कोे लम्पी बीमारी हैै या फिर अन्य कोई परेशानी है। हालांकि राज्य स्तरीय पशु रोग अन्वेषण प्रयोगशाला भोपाल की टीम को प्रथम दृष्टता लम्पी बीमारी के लक्षण की नजर आए हैं, इसके लिए गाय का वैक्सीनेशन करने के साथ ही अन्य गायों को भी वैक्सीन लगाई गई है, ताकि वे सुरक्षित रह सकें। टीम मुस्तैद, जल्द ही शुरू होगा पशुओें का वैक्सीनेशन – पशुपालन विभाग ने लम्पी बीमारी से निपटने की भी पूरी तैैयारियां कर ली है। हालांकि अभी तक सीहोर जिले में लम्पी बीमारी के लक्षण वाले पशु सामने नहीं आए हैं। फिलहाल एक मामला है, लेकिन वह भी संदिग्ध है। हालांकि सतर्कता बरतते हुए पशुपालन विभाग द्वारा वैक्सीनेशन की खरीदी कर ली गई है और जल्द ही वैक्सीनेशन शुरू भी किया जाएगा। फिलहाल उन पशुओें को ही यह वैक्सीन लगाई जाएगी, जिनमें ऐसे लक्षण दिखाई दे रहे हैं या वे इस बीमारी से पीड़ित हो गए होें। जिन क्षेत्रों में लम्पी बीमारी के लक्षण वाले पशु सामने आएंगे उन क्षेेत्रोें में पहले वैक्सीनेशन का कार्य किया जाएगा। यदि जरूरत पड़ी तो जिलेभर में अभियान चलाकर भी वैक्सीनेशन का कार्य किया जाएगा। डरने की नहीं, सतर्कता बरतने की जरूरत- पशुपालन विभाग के उप संचालक एकेएस भदौरिया कहते हैैं कि लम्पी बीमारी से किसानों एवं पशुपालकों को डरने की जरूरत नहीं है। यह बीमारी पशुओें से पशुओं में फैलती है। यदि किसी पशु को लम्पी बीमारी है औैर उसे किसी मच्छर, मक्खी ने छू लिया और वह किसी दूसरे पशु पर जाकर बैठ जाए तो उसे यह बीमारी हो सकती है। लम्पी बीमारी हवा में भी नहीं फैलती है। यह बीमारी पशुओें से इंसानों में भी नहीं होती है। यदि किसानोें एवं पशुपालकों को उनके पशुओें में ऐसे लक्षण दिखाई दे तोे वे सबसे पहले अपने पशुओें को ऐसे सुरक्षित स्थान पर शिफ्ट करें, जहां गंदगी न हो एवं आसपास पशु भी न हो। इसके अलावा तुरंत पशु चिकित्सक से संपर्क करके उसे जानकारी दें, ताकि समय रहते पशु की जांच कराई जा सकेे और उसे जरूरी इलाज दिया जा सके। लम्पी बीमारी से डरने की नहीं, बल्कि कुछ जरूरी सतर्कता बरतने की आवश्यकता है।