आष्टा। जन्माष्टमी के अवसर पर आष्टा नगर में पहली बार यादव समाज द्वारा भव्य जुलूस निकाला गया। इसमें बड़ी संख्या में समाजजन उपस्थित रहे। जुलूस नगर के अनेकों मार्गों से होते हुए मानस भवन पहुँचा। यहां अनेकों सामाजिक कार्यक्रम आयोजित किए गए। इस अवसर पर पूर्व नगरपालिका अध्यक्ष कैलाश परमार ने कहा कि सज्जनों की सुरक्षा, दुष्टों का नाश एवं धर्म की स्थापना, भगवन कृष्ण का अवतरण इन्हीं उद्देश्यों की पुर्ति के लिए हुआ था। श्रीकृष्ण का हर कार्य धर्म की कसौटी है। उनका चरित्र शुद्ध सात्विक है। रज एवं तम का वहां स्पर्श भी नहीं है। महाराज युधिष्टर के यज्ञ में उन्होंने आगुन्तको के पाद प्रक्षालन का काम स्वप्रेरणा से सम्भाला। महाभारत युद्ध में वे अर्जुन के सारथी बने। धर्म के प्रधान अंग सत्य में आप इतने सुदृढ़ थे कि शिशुपाल की मां को शिशुपाल के सौ अपराध क्षमा करने का वचन देकर उसका भी पालन स्वयं का अपमान सहकर पूर्ण किया। प्रभु के अवतरण दिवस पर यादव समाज ने भव्य शोभा यात्रा निकालकर आयोजनों के नगर आष्टा की एक बड़ी कमी को पूर्ण किया। इस हेतु यादव समाज के आभारी है। कैलाश परमार मित्र मंडल के साथी अजीत कुमार जैन जिला कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष, प्रदीप प्रगति, पूर्व पार्षद अनिल धनगर, पार्वती गोशाला के कोषाध्यक्ष संजय सुराणा, समाजसेवी सुनील प्रगति, नरेन्द्र पोरवाल, युवा समाजसेवी इंजीनियर शुभम शर्मा, राज परमार, सुनील सेन आदि ने चल समारोह अध्यक्ष पंकज यादव पूर्व पार्षद, तहसील अध्यक्ष डॉ महेश यादव, नगर अध्यक्ष पवन यादव, डॉ सूरज यादव अलीपुर, डॉ बीएल यादव कालोनी चौराहा, एनके यादव सहित समाज के सेकड़ो उपस्थितजन का पुष्प वर्षा से स्वागत किया।
नरेंद्र कुशवाहा मित्र मंडली ने भी किया स्वागत –
आष्टा नगर में भगवान श्रीकृष्ण के जन्मोत्सव के पावन अवसर पर यादव समाज के आराध्य भगवान श्रीकृष्ण रथ पर सवार होकर चल समारोह के रूप में निकले। चल समारोह बाईपास चौपाटी से प्रारंभ हुआ, जो अलीपुर, पुराना बस स्टैंड सहित अन्य प्रमुख मार्गो से गुजरा। रथ पर सवार भगवान श्रीकृष्ण की शुभम (निखिल) कुशवाहा ने पूजन अर्चना एवं आरती की। चल समारोह अध्यक्ष पंकज यादव पूर्व पार्षद एवं अनिल यादव का सुभाष नामदेव पार्षद ने पुष्पमाला एवं साफा बांधकर स्वागत किया। चल समारोह में चल रहे यादव समाज के लोगों का भी पुष्प वर्षा एवं दुपट्टा डालकर स्वागत किया गया। इस अवसर पर कुशवाहा समाज पटेल दलकिशोर कुशवाहा, आशु नामदेव, सुनील परमार, राहुल कुशवाहा, अनिल कुशवाहा, अरविंद सेन, लखन सेन, डॉक्टर भगवानदास शुक्ला, राजू सोनी, सुरेश जैन, हितेश जैन, मना बाबू कुशवाहा, किशन मेवाड़ा प्रतीक महाडीक आदि उपस्थित रहे।