भैरूंदा में पीड़ितों को मिली राहत राशि, कांग्रेस ने किया जिम्मेदारों पर कार्रवाई को लेकर धरना-प्रदर्शन

कांग्रेस नेताओं ने ताली बजाकर किया अनोखा प्रदर्शन

सीहोर। पिछले दिनों सीहोर जिले के भैरूंदा में हुई आगजनी की घटना में व्यापारियों की दुकानें जलकर खाक हो गई। तीन दुकानों को ज्यादा नुकसान हुआ तो वहीं अन्य व्यापारियोें की दुकानें भी इसके कारण प्रभावित हुई। आगजनी की घटना के बाद से लगातार जिम्मेदारों की कार्यप्रणाली पर भी सवाल उठाए गए।

अब आगजनी के प्रभावितों को शासकीय आर्थिक सहायता उपलब्ध कराई गई है। केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भैरूंदा के आगजनी के पीड़ितो को 4 लाख 35 हज़ार की राहत राशि प्रदान की। इधर कांग्रेस ने नगर परिषद, प्रशासन के जिम्मेदार अधिकारी- कर्मचारियों पर कार्रवाई को लेकर धरना-प्रदर्शन किया। कांग्रेस नेताओं ने एकत्रित होकर तालियां बजाकर अनोखा प्रदर्शन किया। कांग्रेस की मांग है कि भैरूंदा में हुई आगजनी से हमारे व्यापारी भाइयों के प्रतिष्ठान पूरी तरह से जलकर नष्ट हो गए हैं। शासन द्वारा इनको जो राहत राशि प्रदान की गई है वह उंट के मुंह में जीरे जैसी है। करोड़ों रूपए का नुकसान हुआ है और आर्थिक सहायता मात्र 4 लाख 35 हजार रूपए दी जा रही है। यह उचित नहीं है। प्रशासन इनकी भरपाई करे एवं दोषी अधिकारियों-कर्मचारियों पर कार्रवाई करे। प्रदर्शन ब्लाक कांग्रेस कमेटी भैरूंदा, गोपालपुर, लाड़कुई द्वारा किया गया। इसमें महिला कांग्रेस, युवा कांग्रेस, सेवादल, एनएसयूआई, अनुसूचित जाति व जनजाति प्रकोष्ठ, किसान कांग्रेस, आरजीपीआरएस एवं नगर कांग्रेस के पदाधिकारी, कार्यकर्ता मौजूद रहे। प्रदर्शन में मुख्य रूप से कांग्रेस नेता विक्रम मस्ताल शर्मा ’हनुमानजी’, जिला युवा कांग्रेस अध्यक्ष संजय पटेल हवेली, भैरूंदा ब्लॉक अध्यक्ष देवी सिंह थारोल सहित गोपालपुर, लाड़कुई के ब्लॉक अध्यक्ष, कार्यकर्ता बड़ी संख्या में मौजूद रहे।
दोषियों पर की जाए कार्यवाही : विक्रम मस्ताल शर्मा

कांग्रेस नेता विक्रम मस्ताल शर्मा ने कहा है कि भैरूंदा में हुई आगजनी की घटना बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है और इस आगजनी की घटना में नगर परिषद के जिम्मेदारों की लापरवाही उजागर हुई है। नगर परिषद द्वारा दमकल गाड़ियों का मेंटेनेंस नहीं किया जाता है और जब जरूरत पड़ती है तो गाड़ी ही खराब हो जाती है। यदि नगर परिषद की दमकल गाड़ी ठीक होती तो यह आगजनी की घटना रोकी जा सकती थी और व्यापारियों के नुकसान को बचाया जा सकता था। हमने प्रशासन से फायर ऑडिट की रिपोर्ट मांगी, लेकिन प्रशासन के पास कोई फायर ऑडिट की रिपोर्ट नहीं है। उन्होंने कहा कि केंद्रीय कृषि मंत्री क्षेत्र में आते हैं, लेकिन वे किसानों से नहीं मिले। यहां पर सब भगवान भरोसे ही चल रहा है।

एसडीएम से की चर्चा –
धरना-प्रदर्शन से पहले कांग्रेस नेताओं ने भैरूंदा एसडीएम मदन सिंह रघुवंशी से चर्चा की। उन्होंने कांग्रेस नेताओं को आश्वासन दिया कि मामले की जांच की गई है। जांच रिपोर्ट वरिष्ठ कार्यालय भेज दी गई है। जांच में दोषी पाए जाने पर अधिकारी कर्मचारियों पर सक्षम अधिकारी द्वारा कार्रवाई की जाएगी। बाद में एसडीएम मदन सिंह रघुवंशी धरना दे रहे कांग्रेस नेताओं के पास पहुंचे और उनसे चर्चा करके धरना समाप्त कराया।

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