Sehore news : नवरात्रि में गरबा खेलकर आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं ने जताया विरोध
आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, मिनी कार्यकर्ता, सहायिका कल्याण समिति संघ की 10वें दिन भी हड़ताल रही जारी

सीहोर। टाउन हॉल के बाहर पिछले 10 दिनों से आंगनबाड़ी कार्यकर्ता अपनी मांगों को लेकर अनिश्चितकालीन हड़ताल कर रही हैं। इस दौरान गुरुवार को आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं ने नवरात्रि पर्व के चलते गरबा महोत्सव कार्यक्रम आयोजित किया। इस दौरान महिलाओं ने धरनास्थल पर गरबा खेलकर अपना विरोध प्रदर्शन किया, वहीं सरकार से वेतन में वृद्धि की मांग सहित अन्य मांगों के निराकरण की मांग की है।
आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, मिनी कार्यकर्ता, सहायिका कल्याण समिति संघ का प्रदेश स्तरीय अनिश्चितकालीन हड़ताल व धरना प्रदर्शन जारी है। इसके तहत जिले में भी पिछले दस दिनों से आंगनबाड़ी कार्यकर्ता टाउन हॉल के बाहर बैठी हुई हैं। गुरुवार को दसवे दिन कार्यकर्ताओं ने गरबा महोत्सव मनाकर जमकर डांडिया किया और प्रदेश सरकार से शीघ्र ही अपनी मांगों को पूरा करने की मांग की। जिलाध्यक्ष रेणु शर्मा ने बताया कि काम के एवज में आंगनबाड़ी कर्मियों को दिए जा रहे मानदेय की राशि अत्याधिक कम है। शासन से अपनी मांगों के निराकरण की मांग को लेकर प्रदेश स्तर पर आंगनबाड़ी कार्यकर्ता अनिश्चितकालीन हड़ताल पर 10 दिनों से है। इस मौके पर जिलाध्यक्ष रेणु शर्मा, सचिव नंदा कुशवाहा, परियोजना अध्यक्ष सफिया बानो सहित बड़ी संख्या में कार्यकर्ता, मिनी कार्यकर्ता, सहायिका मौजूद थीं।
ये हैं प्रमुख मांगें-
– भारत सरकार ने अक्टूबर 2018 में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, सहायिका, मिनी कार्यकर्ता का मानदेय बढ़ाया। इसका आज तक एरियर्स सहित भुगतान नहीं किया गया, शीघ्र भुगतान हो।
– सभी कार्यकर्ता, सहायिकाओं को नियमित किया जाए। राज्य शासन कर्मचारी घोषित किया जाए।
– सेवानिवृत्त होने पर कार्यकर्ताओं को 5 लाख व सहायिकाओं को 3 लाख रुपए दिए जाएं। कोरोना काल की प्रोत्साहन राशि 10 हजार रुपए दी जाए।
– मिनी कार्यकर्ता को आंगनबाड़ी कार्यकर्ता के रूप में पदोन्नत किया जाए। भविष्य में केवल सहायिका व कार्यकर्ता की भर्ती की जाए।
– वरीयता के आधार पर कार्यकर्ता से सुपरवाइजर, सहायिका से कार्यकर्ता के पद पर पदोन्नति दी जाए।
– मोबाइल पर कार्य करने प्रशिक्षण दिया जाए। प्रशिक्षण हिन्दी में दिया जाए।
– सभी कर्मचारी की भांति देय सभी सामान्य व्यक्ति का अवकाश केंद्रों में लागू किया जाए।
– प्रत्येक माह की 5 तारीख तक मानदेय का भुगतान हो, ताकि समय से कर्मचारी की आवश्यकता व परिवार का भरण पोषण कर सकें। इसी तरह अन्य मांगों के निराकरण की मांग की है।



