सीहोर। गुरुवार को ग्राम रोजगार सहायक/पंचायत सचिव कर्मचारी संघ के तत्वाधान में गुरुवार को जिले भर के पदाधिकारियों और सदस्यों ने अपनी विभिन्न मांगों को लेकर शहर के कलेक्ट्रेट में प्रदर्शन कर प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से संबोधित एक ज्ञापन जिला प्रशासन को सौंपकर वर्षों से लंबित मांगों का शीघ्र निराकरण कराने की अपील की है।
अपनी मांगों के समर्थन में ग्राम रोजगार सहायक/पंचायत सचिव कर्मचारी संघ के जिलाध्यक्ष सुरेंद्र सिंह ठाकुर, ब्लॉक अध्यक्ष अखिलेश मेवाड़ा, ब्लॉकाध्यक्ष रविंद्र राजपूत, जितेंद्र ठाकुर, पदम मालवीय, सुनील वर्मा, जितेंद्र सोलंकी, विष्णु प्रजापति, विमल सोनी, राजकुमार प्रजापति आदि ने जिला प्रशासन को प्रदेश के मुख्यमंत्री से संबोधित एक ज्ञापन सौंपा था। ज्ञापन में कहा कि मध्यप्रदेश में ग्राम रोजगार सहायक पिछले 12 सालों से केन्द्र एवं राज्य शासन की करीब 52 योजनाओं का क्रियान्वयन 23 हजार ग्राम पंचायतों में जरूरतमंद तक बड़ी ईमानदारी एवं कर्तव्यनिष्ठा के साथ निर्वहन कर रहे है। मंहगाई के इस दौर में अल्पमानदेय मात्र नौ हजार में अत्याधिक कार्य के दबाव के कारण आर्थिक, शारीरिक एवं मानसिक रूप से प्रताडित है। जिसके कारण कोरोना काल से आज तक 25 से ज्यादा ग्राम रोजगार सहायक/सहायक सचिव काल के गाल में समा गए जिनके परिवार का बुरा हाल है। ग्राम रोजगार सहायकों/सहायक सचिवों की तीन मांगों का निरोकरण किया जाए। इसमें गत वर्ष 25 अगस्त 2018 के मुख्यमंत्री निवास में की गई घोषणा पूरी जाए। ग्राम रोजगार सहायकों की सेवा समाप्ति के बदले निलंबन किया जाएगा, निलंबन अवधि में अन्य कर्मचारियों की भांति नियमानुसार निर्वाह भत्ता दिया जाएगा, ग्राम रोजगार सहायक की आकस्मिक मृत्यु पर आर्थिक सहायता निश्चित धनराशि उनके परिवार दी जाएगी। इसके अलावा पंचायत सचिव की भर्ती में समानता के सिद्धांत अनुसार ग्राम रोजगार सहायकों को प्राथमिकता से लिया जाएगा। ग्राम रोजगार सहायकों से पूर्णरुपेण मनरेगा के कार्य निष्पादित कराए जाए। मांग आधारित योजना को लक्ष्य आधारित योजना बनाकर केवल ग्राम रोजगार सहायकों को टारगेट कर हर योजना का इकलौता दोषी मानकर सेवा समाप्त की जा रही है। ग्राम रोजगार सहायकों के वेतनवृद्धि वर्ष 2017 पांच से नही की गई है। जब तक वेतनवृद्धि नहीं की जाती तब तक मनरेगा के अलावा दूसरी योजना का कार्य नहीं किया जाएगा। अतएव समान कार्य समान वेतन अनुसार वेतनमान तीस हजार किया जाए। इसके अलावा हमारी तीसरी मांग में ग्राम रोजगार सहायक/सहायक सचिव ईमानदारी व संपूर्ण ऊर्जा से कर्तव्य निर्वहन कर सके, ग्राम रोजगार सहायकों के लिए स्थानांतरण नीति बनाई जाए अथवा ब्लाक कैडर अनुसार जनपद में स्वेच्छा से स्थानांतरण किया जाए। वही संघ ने चेतावनी दी है कि हमारी मांगों का शीघ्र ही निराकरण नहीं किया गया तो 23 हजार ग्राम रोजगार सहायक सामूहिक अवकाश पर रहेगे, जिसके बाद भी हमारी मांगें पूरी नहीं हुई तो उच्च न्यायालय की शरण में जाने को बाध्य होंगे साथ ही मां नर्मदा मैया की 313 गाड़ियों से परिक्रमा की जाएगी इसके अलावा धरना-प्रदर्शन भी किया जाएगा।