भोपालमध्य प्रदेश

उत्कृष्ट छात्रावास की अधीक्षिका शिल्पकार सहित सभी अधीक्षकों को छात्रावास में होगा रुकना

अशोकनगर
शासकीय अनु.जाति कन्या उत्कृष्ट छात्रावास की अधीक्षिका किरण शिल्पकार सहित सभी अधीक्षिकाओं को छात्रावास में ही रुकना होगा। इस तरह के आदेश जनजातीय कार्य व्यवहार के जिला संयोजक एसएन रघुवंशी द्वारा विगत दिवस जारी कर दिए गए हैं। उल्लेखनीय है कि 11 जनवरी को अनु.जाति कन्या उत्कृष्ट छात्रावास में निवासरत छात्राएं पानी के लिए सड़कों पर भटकती देखी गई थीं। इस दौरान अधीक्षिका किरण शिल्पकार भी छात्रावास में मौजूद नहीं थीं। इस संबंध में समाचार पत्रों में समाचार प्रकाशित होने के बाद जिला संयोजक ने आदेश क्र./जन.जा.क.वि./स्था./20225/152 जारी कर समस्त अधीक्षिकाओं को निर्देशित किया है कि वे छात्रावास आवास में ही निवास करें। साथ ही अधीक्षिकाओं को निर्देशित किया गया है कि कन्या छात्रावासों की सुरक्षा व्यवस्था सुनिश्चित किए जाने हेतु रात्रिकालीन महिला चौकीदार की व्यवस्था प्रत्येक छात्रावास में की जावे। यही नहीं छात्रवास में रहने वाली छात्राओं एवं चतुर्थ श्रेणी पर अधीक्षिका द्वारा पूर्ण नियंत्रण रखा जाए एवं अधीक्षिकाएं अपना निवास छात्रावास में ही बनाएं जिससे कोई अप्रिय घटना घटित न हो। यदि निरीक्षण के दौरान छात्रावास में निवासरत नहीं मिलती है तो संबंधित अधीक्षिका के विरुद्ध अनुशासनात्मक कार्रवाई की जावेगी जिसके लिए वे स्वयं जिम्मेदार रहेंगी।

शिल्पकार शिक्षा विभाग से प्रतिनियुक्ति पर दो साल के लिए हुई थीं नियुक्त
माध्यमिक शिक्षक किरण शिल्पकार शिक्षा विभाग में कार्यरत हैं एवं छात्रावास अधीक्षिका बनने से पहले भादोन में पदस्थ थीं। एमपी पीटीएएएस पर किए ऑनलाइन आवेदन के माध्यम से आदिमजाति कल्याण विभाग की शालाओं में दो वर्ष के लिए इनकी प्रतिनियुक्ति हुई थी लेकिन दो साल बीतने के बाद भी उनकी प्रतिनियुक्ति समाप्त नहीं की गई है एवं वह छात्रावास में ही पदस्थ हैं। विभाग द्वारा भी प्रतिनियुक्त समाप्त होने के बाद शिक्षकों के उनके मूल विभाग में नहीं भेजा जा रहा है।

जिला संयोजक ने खुद ही अटैच कर लिया छात्रावास अधीक्षक को
एक ओर जहां जिला संयोजक एसएन रघुवंशी ने अधीक्षिकाओं को छात्रावास में रुकने का आदेश जारी कर दिया है दूसरी ओर नईसरांय छात्रावास के अधीक्षक अरुण रघुवंशी को स्थापना शाखा में अटैच कर लिया है। इस कारण अधीक्षक अप-डाउन करने को मजबूर है। इस संबंध में स्थापना शाखा में कार्य कर रहे अरुण रघुवंशी ने बताया कि सुबह तो बच्चे स्कूल चले जाते हैं इसलिए मैं यहां कार्य करने आ जाता हूं एवं शाम को जब बच्चे छात्रावास में पहुंचते हैं तो मैं भी पहुंच जाता हूं। जब इस मामले में जिला संयोजक एनएस रघुवंशी से उनका पक्ष जानना चाहा तो उन्होंने कॉल रिसीव नहीं किया।

इनका कहना
छात्रावासों में व्यवस्थाएं देखने का प्रभार मुझ पर है लेकिन मैं इस बारे में कुछ नहीं कह सकता हूं। साहब से ही आप बात करें। नईसरांय अधीक्षक को यदि जिला कार्यालय में अटैच किया है तो साहब ने वहां व्यवस्था भी की होगी।
मनोज दुबे, छात्रावास शाखा प्रभारी, अशोकनगर

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