सीहोर : नहीं थम रहा कांग्रेस का अंसतोष, खुलकर हो रहा जिलाध्यक्ष एवं वरिष्ठ नेताओं का विरोध
- चुनावी साल में भी जमकर सामने आ रही कांग्रेस की गुटबाजी, बुदनी में भी हो सकता है सज्जन सिंह वर्मा का विरोध, पुतला दहन

सीहोर। बंद मुट्ठी लाख की, खुल गई तो खाक की… ये कहावत इस समय सीहोेर जिला कांग्रेस पर पूरी तरफ सटीक बैठ रही है। हालांकि कांग्रेस की मुट्ठी एक हाथ की यूं तो हमेशा ही खुली रहती है, मगर चुनावी साल में दोनोें मुट्ठी खुल गई हैं। इसका नतीजा कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओें के पुतले दहन के रूप में सामने आ रहा है।
कांग्रेस पार्टी की गुटबाजी किसी से छिपी नहीं है। एक तरफ जहां प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ लगातार बैठकें, दौरे करके कांग्रेस पार्टी में जान फूंक रहे हैैं तो वहीं सीहोेर में जिलाध्यक्ष कांग्रेस नेेताओें में आपसी सामंजस्य नहीं बैठा पा रहे हैं। इसके कारण लगातार कांग्रेस नेताओें, कार्यकर्ताओें के बीच में जमकर असंतोेष के स्वर बुलंद हो रहे हैं। यह असंतोेष कांग्रेस पार्टी कोे चुनाव में भारी भी पड़ सकता है। इसी अंसंतोष के चलते जहां आष्टा में कांग्रेस के दिग्गज नेेता एवं पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा का कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने पुतला दहन कर दिया तो वहीं अब बुदनी विधानसभा में भी कांग्रेस नेताओं, कार्यकर्ताओं के बीच में जमकर असंतोेष पनप रहा है और यहां भी सज्जन सिंह वर्मा, जिलाध्यक्ष सहित अन्य वरिष्ठ नेताओें का पुलता दहन हो सकता है।
नियुक्तियोें के बाद शुरू हुआ असंतोेष-
सीहोर जिला वैसे तो भारतीय जनता पार्टी का गढ़ है। वर्तमान में भी यहां की सभी विधानसभा भाजपा के कब्जे में हैं। इसके अलावा जिले की नगर पालिका, नगर परिषदों पर भी भारतीय जनता पार्टी का ही कब्जा है। यहां पर कांग्रेस के जिलाध्यक्ष डॉ. बलवीर सिंह तोेमर पर यह आरोप भी लग चुके हैं कि वे भाजपा के एजेेंट हैं, लेकिन उसके बाद ही यहां पर उनको फिर से जिलाध्यक्ष रिपीट कर दिया गया। अब जब सीहोर जिले में ब्लॉक कांग्रेस कमेटियों की नियुक्तियां हुईं तो ऐसे नेताओें को ब्लॉक कांग्रेस का अध्यक्ष बना दिया गया, जिनका नियुक्तियोें के बाद से ही लगातार विरोध हो रहा है। बुदनी ब्लॉक कांग्रेस अध्यक्ष राजेंद्र यादव को भी यहां केे नेता, कार्यकर्ता नहीं पचा पा रहे हैैं। वे मैदान में भी नहीं है, जबकि चुनावी साल में पदाधिकारियों को मोर्चें पर होना चाहिए। ऐसी स्थिति में कांग्रेस का भविष्य क्या होगा ये तोे चुनाव तय करेंगे, लेकिन वर्तमान में सीहोेर जिले मेें कांग्रेस नेताओें, कार्यकर्ताओें का असंतोेष जमकर सामने आ रहा है।
दो धड़ों में बंटी कांग्रेस-
सीहोर जिले में कांग्रेस पार्टी दो धड़ोें में बंटी नजर आ रही है। यही कारण है कि कांग्रेस की दुदर्शा हो रही है। जिले के आष्टा, बुदनी ब्लॉक में यह स्थिति ज्यादा नजर आ रही है। आष्टा ब्लॉक में तोे पिछले दिनों राजीव गांधी की पुण्यतिथि पर भी कांग्रेस गुटों में बंटी नजर आई। दरअसल आष्टा में पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय राजीव गांधी की पुण्यतिथि नगरपालिका के सामने बनेे कम्यूनिटी हाल में मनाई गई, लेेकिन यहां पर कांग्रेस नेेताओें ने एक ही दिन में अलग-अलग कार्यक्रम आयोजित किए। इससे साफ है कि कांग्रेस के अंदर गुटबाजी चरम पर है।
बुदनी में भी हो रही आपसी कलह-
बुदनी में ब्लॉक कांग्रेस अध्यक्ष राजेंद्र यादव कोे नियुक्त किया गया, लेकिन उनकी इस नियुक्ति सेे वहां के कई कांग्रेस नेता खफा हैं। यह मैसेज भी उपर पर पहुंचा दिया गया है। राजेेंद्र यादव की नियुक्ति के बाद से ही कई नेता, कार्यकर्ता घरों में बैठ गए हैं। चुनावी साल में भी कांग्रेस अपने नेेता, कार्यकर्ताओें को घर से बाहर नहीं निकाल पा रही है। बुदनी विधानसभा के कई वरिष्ठ नेता, जो आस लगाए बैठेे थेे कि उनकेे समाप्त होेतेे राजनीतिक जीवन से पहले उन्हें कोई जिम्मेदारी सौैंपी जाएगी तो उन्हें भी निराश होकर घर ही बैठना पड़ा है। अब ऐसी स्थिति में कांग्रेस केे अंदरखाने जमकर कलह मची हुई है।