Sehore News : MPRDC के अफसरों ने माना, सीहोर से भैरूंदा तक हुआ सड़क का घटिया निर्माण

181 करोड़ से अधिक राशि से हुआ सड़क निर्माण, लेकिन नहीं हुआ गुणवत्तापूर्ण काम

भैरूंदा। सीहोर से भैरूंदा तक बनी सड़क के निरीक्षण के दौरान मध्यप्रदेश रोड डेवलपमेंट कारपोरेशन (एमपीआरडीसी) के अफसरों ने माना है कि इस सड़क में कहीं-कहीं गुणवत्ताहीन काम हुआ है। सबसे घटिया काम कोसमी से बिजला के बीच में होना पाया है। यह काम प्रदेश के पूर्व पीडब्ल्यूडी मंत्री रामपाल सिंह के भतीजे की कंपनी बीएसआर कंस्ट्रक्शन ने किया है।
सीहोर से भैरूंदा तक करीब 75 किलोमीटर की सड़क का निर्माण विगत वर्षों में हुआ है। इस रोड़ को तीन अलग-अलग कंपनियों ने पूरा किया है। सीहोर से कोसमी तक शिवहरे कंस्ट्रक्शन ने इस रोड को बनाया है तो वहीं कोसमी से बिजला तक बीएसआर कंस्ट्रक्शन कंपनी ने इसका निर्माण किया है। अब बिजला से भैरूंदा के बीच में दिल्ली की कोई कंस्ट्रक्शन कंपनी ने काम किया है। इस दौरान सड़क निर्माण करने वाली कंपनियों एवं ठेकेदार पर लगातार घटिया काम का आरोप लगता रहा। सीहोर से बिजली तक बने रोड का निर्माण बेहद घटिया तरीके से हुआ है। सबसे घटिया काम कोसमी से बिजला के बीच में हुआ है। यहां तक करीब 166 करोड़ की लागत से रोड का निर्माण कार्य पूरा किया गया है, वहीं बिजला से भैरूंदा तक करीब 15 करोड़ की लागत से रोड बनाई गई है। अब इस सड़क का निरीक्षण करने के लिए एमपीआरडीसी के अधिकारी पहुंचे तो उन्हें भी यहां के स्थानीय लोगों के विरोध का सामना करना पड़ा। भैरूंदा, लाड़कुई सहित अन्य स्थानों के लोगों ने सड़क निर्माण को लेकर अधिकारियों को जमकर सुनाई। ठेकेदार ने सड़क के किनारे नाली तो बनाई, लेकिन इसकी निकासी नहीं की। इसके कारण पानी लोगों के घरों में घुस गया।
नाली बनाई, लेकिन निकासी करना भूले-
सीहोर से भैरूंदा तक बनी करीब 75 किलोमीटर सीसी रोड अपने निर्माण के समय से ही विवादों में रही है। पहले सड़क निर्माण के दौरान घटिया निर्माण कार्य के चलते कंपनी और ठेकेदारों की शिकायतें खूब हुईं, लेकिन अधिकारियों ने उस समय शिकायतों पर ध्यान नहीं दिया। इसके कारण कंपनी और ठेकेदार मनमानी से रोड बनाते गए। कई जागरूक लोगों ने लिखित में भी शिकायतें की, लेकिन इन शिकायतों का भी कोई असर नहीं हुआ। इसके बाद जब निर्माण कार्य पूरा हुआ तो अधिकारियों की आंखें खुलीं। अब एमपीआरडीसी के अधिकारियों ने निरीक्षण के दौरान कई खामियां पाई हैं। बिजली से भैरूंदा के बीच में बनी सड़क में ठेकेदार ने नगरीय क्षेत्र में नालियां तो बनाई, लेकिन पानी की निकासी नहीं दी। इसके कारण पिछले दिनों हुई बारिश का पानी लोगों के घरों में घुस गया। जब एमपीआरडीसी के अधिकारियों ने निरीक्षण किया तो यहां के रहवासियों ने भी उन्हें सामने विरोध जताया और ठेकेदार पर मनमानी का आरोप भी लगाया। लोगों ने अधिकारियों को बताया कि यहां पर मनमानी से काम हुआ है। अधिकारियों ने निरीक्षण के दौरान लाड़कुई, भैरूंदा सहित कई अन्य स्थानों की सड़कों को देखा।