यूक्रेन को अमेरिका से मिले HIMARS की जानें क्या है खासियत, रूस ने किया इसका डिपो नष्ट करने का दावा
नई दिल्ली
यूक्रेन को हाल ही में अमेरिका से HIMARS (High Mobility Artillery Rocket System)राकेट सिस्टम हासिल हुआ है। यूक्रेन ने अमेरिका से उन हथियारों को देने की गुहार लगाई थी जिनके उपयोग से वो रूस पर भारी पड़ सकें। इसके बाद ही अमेरिका ने ये सिस्टम यूक्रेन को मुहैया करवाया है। इसके जरिए यूक्रेन ने रूस के कम से कम चार दर्जन से भी अधिक गोला-बारूद डिपो को नष्ट किया है। हालांकि रूस ने भी कई HIMARS सिस्टम को नष्ट करने का दावा अपने बयान में किया है।
रूस और यूक्रेन के दावे
रूस के एक बयान में कहा गया है कि उसने पश्चिमी यूक्रेन के खमेलनित्स्की क्षेत्र में मौजूद उस डिपो को नष्ट कर दिया है जो HIMARS सिस्टम के लिए वहां पर एकत्रित किया गया था। बता दें कि अमेरिका ने यूक्रेन के आग्रह पर HIMARS राकेट सिस्टम की पहली खेप जून में भेजी थी। इसके अलावा पिछले सप्ताह इसके चार सिस्टम और यूक्रेन भेजे जा चुके हैं। HIMARS के साथ अब यूक्रेन के पास अमेरिकी हाई मोबिलिटी आर्टिलरी राकेट सिस्टम की संख्या 12 तक हो गई है। गौरतलब है कि यूक्रेन को रूस से युद्ध शुरू होने के बाद अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस, जर्मनी, पोलैंड और स्लोवाकिया समेत कई देशों ने हथियार उपलब्ध कराए हैं।
जानें इसकी खासियत
- M142 HIMARS एक अत्याधुनिक राकेट लान्चर है। इसकी सबसे बड़ी खासियत है कि ये वजन में काफी हल्का है।
- हल्का होने के बावजूद इसकी मारक क्षमता करीब 80 किमी (लगभग 50 मील) तक है।
- इसकी तुलना यदि M777 Howziters से की जाए तो इसकी मारक क्षमता या इसकी रेंज उससे लगभग दोगुनी है।
- वजन में हल्का होने की वजह से ही इसको कहीं भी आसानी से लेकर जाया जा सकता है।
- 5 टन वजनी ट्रक इस पूरे सिस्टम को कैरी करता है।
- इसमें लगे 7 मीटर लंबे राकेट सटीक निशाना लगाने में सक्षम हैं।
- इसके एक सिस्टम में छह राकेट लान्चर होते हैं।
- अमेरिका इस सिस्टम का सफलतापूर्वक उपयोग इराक, सीरिया, अफगानिस्तान में भी कर चुका है।
- इस एक सिस्टम को तीन सदस्यीय दल आपरेट करता है। इस तरह से इसको चलाने में मैनपावर भी कम ही लगती है।
- इसकी एक बड़ी खासियत ये भी है कि ये 2-300 किमी की रेंज तक दुश्मन पर सटीक हमला कर सकता है।
- इसमें लगे राकेट को ATACMS मिसाइल से भी बदला जा सकता है।
- लाकहिड मार्टिन के इस पूरे सिस्टम को लंबी दूरी पर भेजने के लिए हरक्यूलिस विमान की जरूरत होती है।