राज्य

लोकवाणी: आपकी बात-मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के साथ

रायपुर
एंकर
–    लोकवाणी के माध्यम से प्रदेश की जनता और श्रोताओं से मुखातिब, माननीय मुख्यमंत्री भूपेश बघेल जी और आप सभी को नववर्ष 2022 की कोटि-कोटि बधाइयां तथा अनंत शुभकामनाएं।
–    माननीय मुख्यमंत्री जी, आपके नेतृत्व में विगत तीन वर्षों में जनभागीदारी और विकास का जो ताना-बाना बना है, उससे यह विश्वास जागा है कि नए वर्ष में सफलताओं और जनसशक्तीकरण के नए रंग भरे जाएंगे।
–    आज लोकवाणी कार्यक्रम की पच्चीसवीं कड़ी का प्रसारण हो रहा है। इस अवसर पर हम आपका सादर हार्दिक अभिनंदन करते हैं।

माननीय मुख्यमंत्री जी का जवाब
–    जम्मो सियान मन, दाई-दीदी मन, संगवारी मन, नोनी-बाबू मन, भतीजा-भतीजी मन ल जय जोहार, नमस्कार, जय सियाराम।
–    नवा बछर 2022, नवा छत्तीसगढ़ गढ़े के हमर जतन, उछाह अउ नियाव के उदिम ल नवा बल देवय।
–    आप जम्मो मन ल हिरदे ले सुभकामना।
    नवा बछर के नवा बिहनिया,
    जय हो, जय हो छत्तीसगढ़ मइया।
–    संगवारी हो, हमन जुर मिलके अइसन नवा छत्तीसगढ़ गढ़त हन जेमा सब्बो मन के सम्मान होवय, बराबरी के अधिकार होवय। अनुसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति, अन्य पिछड़ा वर्ग, सामान्य वर्ग, अल्पसंख्यक वर्ग जम्मो मन छत्तीसगढ़ महतारी के गुलसन के अलग-अलग फूल असन महमहाय।
–    जात-पात के जहर छत्तीसगढ़ म झन फैल पाए, एकर बर हमन बिसेस जतन करत हन।
–    अउ छत्तीसगढ़ के ऐतिहासिक, सांस्कृतिक, परम्परा, हमर पुरखा मनके बिरासत ल बचाके, ऊंखर सपना ल पूरा करत जाबो, नवा छत्तीसगढ़ गढ़त जाबो, इही हमर संकल्प हवय।

एंकर
–     माननीय मुख्यमंत्री जी, लोकवाणी की पच्चीसवीं कड़ी का विषय है। ‘‘युवा सपने और छत्तीसगढ़’’।
–    हमारा छत्तीसगढ़ राज्य भी अब 21 वर्ष पूर्ण कर चुका, एक युवा राज्य है। 12 जनवरी को युवाओं के प्रेरणास्रोत स्वामी विवेकानंद का जन्म दिवस है, जिसे हम युवा दिवस के रूप में मनाते हैं। इस अवसर पर हमारे कुछ युवा साथियों ने वर्ष 2020 की आपकी पहल को याद किया है, आइए सुनते हैं उनके विचार और आपकी बात-
    भूपेश कका जय जोहार, मैं हिमांशु यादव जिला रायपुर से बोल रहा हूं। 2020 में आपने स्वामी विवेकानंद जी के जन्मदिन के अवसर पर जो युवा दिवस का आयोजन किया था, उसमें युवाओं को न सिर्फ अपनी प्रतिभा दिखाने का मौका मिला था बल्कि स्वामी विवेकानंद के विचारों को जानने, समझने का अवसर भी मिला था। आपने हम युवाओं के लिए जिस तरह से विकास का रोडमेप बनाया है, उसके लिए आपको धन्यवाद।
    माननीय मुख्यमंत्री जी, प्रणाम। मैं कुमारी करुणा ग्राम शास्त्री चौक, मंदिरहसौद, जिला रायपुर से बोल रही हूं। आपने 2020 में युवा महोत्सव का आयोजन किया था, वह शानदार था। एक लघु भारत, साइंस कॉलेज परिसर, रायपुर में उमड़ आया था..! किसी भी तरह की जाति, धर्म सम्प्रदाय का भेदभाव नहीं था। यह आपकी अच्छी सोच के कारण ही संभव हुआ था। क्या इस बार भी ऐसा आयोजन हो रहा है? कृपया अवगत कराने का कष्ट करें। धन्यवाद।

माननीय मुख्यमंत्री जी का जवाब
–    भतीजा हिमांशु व भतीजी करुणा, शुभ स्नेह।
–    युवा महोत्सव के आयोजन को लेकर आपने जो कहा, उससे मुझे बहुत खुशी और गौरव का अनुभव हुआ है।
–    मैं जानता हूं कि हमारे युवा जात-पात से दूर, वैज्ञानिक ढंग से सोचते हैं। यही वजह है कि हमने तीन दिन तक 10 हजार युवाओं को एक साथ रखने का इंतजाम किया था, जिसमें 800 से अधिक प्रस्तुतियां हुई थीं।
–    वर्ष 2021 में कोरोना के कारण यह आयोजन नहीं कर पाए थे।
–    इस वर्ष सब कुछ सामान्य लग रहा था, हमने युवा महोत्सव 2022 के आयोजन की घोषणा कर दी थी, लेकिन फिर जिस तरह से कोरोना बढ़ रहा है, उसे देखते हुए आयोजन स्थगित करने का निर्णय लेना पड़ा है। लेकिन जैसे ही सब कुछ ठीक होगा, हम इस तरह युवाओं के लिए आयोजन जरूर करेंगे।
–    जहां तक आपने नया वर्ष, युवा सपने, युवा दिवस और नवा छत्तीसगढ़ की बात की है, तो मैं यह बताना चाहता हूं कि इन सबके बीच एक अंतर संबंध है।
–    स्वामी विवेकानंद जी का रायपुर से अटूट नाता है।
–    वे मात्र 39 वर्ष जिए।
–    सर्वाधिक समय कलकत्ता में रहे। उसके बाद किसी अन्य स्थान पर रहने की उनकी सर्वाधिक अवधि छत्तीसगढ़ में ही रही।
–    जब उनका मन अध्यात्म की ओर बढ़ रहा था, उस समय वे छत्तीसगढ़ की हवा, पानी, माटी और धड़कन से एकाकार हो रहे थे।
–    इस तरह एक वैज्ञानिक क्रांतिकारी संन्यासी स्वामी विवेकानंद ने जो छाप छत्तीसगढ़ में छोड़ी है, उसे चिरस्थायी बनाने के लिए हमने उनके जन्मदिन 12 जनवरी को ‘युवा महोत्सव’ का आयोजन करने की शुरुआत सन् 2020 में की थी।
–    आज स्वामी विवेकानंद को कुछ लोग अपनी राजनीति के लिए दक्षिणपंथी करार देते हैं, जबकि स्वयं स्वामी जी ने जो कहा था, वह विश्व धर्म और अध्यात्म के इतिहास में स्वर्ण अक्षरों में दर्ज है।
–    शिकागो में स्वामी जी ने साफ कहा था कि धर्म के नाम पर दुनिया में बहुत खून बहाया जा चुका है।
–    साम्प्रदायिकता, हठधर्मिता, धर्मांधता ने कई बार सभ्यताओं को नष्ट किया है और दुनिया में निराशा फैलाई है।
–    स्वामी जी ने कहा था कि अगर जात-पात, धर्म-सम्प्रदाय के नाम पर हिंसा न होती तो आज का मानव समाज बहुत उन्नत होता।
–    उस जमाने में भी स्वामी जी दुनिया में घूम-घूम कर कहते थे कि मैं यहां किसी एक धर्म का प्रचार करने नहीं आया बल्कि ऐसे दर्शन का प्रचार कर रहा हूं, जो दुनिया के सभी धर्माें में निहित है।
–    उन्होंने कहा था कि मैं किसी धर्म का विरोधी नहीं हूं, हर धर्म के लोगों को तेजस्वी बनाने का प्रयास कर रहा हूं।
–    आज जो स्वामी जी को आध्यात्मिक संत बताकर उनके योगदान को छोटा करना चाहते हैं उन्हें बताना चाहता हूं कि स्वामी जी विरक्ति की बात नहीं करते थे बल्कि क्रान्ति की बात करते थे। कुरीतियों से लड़ने और समाधान की बात करते थे।

एंकर
–    माननीय मुख्यमंत्री जी, छत्तीसगढ़ के युवाओं ने अपनी बहुमुखी प्रतिभा का प्रदर्शन पिछले दिनों किया है। आपने भी अनेक बार यह कहा है कि युवा प्रतिभाओं को संवारने, उन्हें अवसर देने और आगे बढ़ाने की दिशा में आप बहुत से नए कदम उठाएंगे। इस संबंध में हमारे कुछ युवा साथियों ने अपनी जिज्ञासा व्यक्त की है। आइए सुनते हैं उनकी आवाज में उनकी बातें-
    हिमांशु मानिकपुरी, जिला दुर्ग
    मैं हिमांशु मानिकपुरी, जिला दुर्ग से बोल रहा हूं। माननीय मुख्यमंत्री जी प्रणाम। हमने मुख्यमंत्री खिलाड़ी प्रोत्साहन योजना के बारे में पढ़ा था। कृपया इसके बारे में विस्तार से जानकारी देने की कृपा करें।
    रामेश्वरी नेताम, जिला बस्तर
    माननीय मुख्यमंत्री जी जय जोहार। मैं रामेश्वरी नेताम जिला बस्तर से बोल रही हूं। थिंक बी योजना के बारे में एक खबर हमने पढ़ी थी। कृपया इसके बारे में बताइए ताकि हम लोग इसका लाभ उठा सकंे।
    रमेश पटेल, जिला कोण्डागांव
    माननीय मुख्यमंत्री जी, जय जोहार। मैं रमेश पटेल जिला कोण्डागांव से बोल रहा हूं। हाल ही में बादल परियोजना के बारे में कहीं चर्चा सुनी थी। इसका लाभ किसको और कैसे मिलेगा? इस बारे में विस्तार से बताने की कृपा कीजिए।

माननीय मुख्यमंत्री जी का जवाब
–    हिमांशु, रामेश्वरी एवं रमेश जी, जय जोहार।
–    मेरा मानना है कि आज के जमाने में युवाओं का कॅरियर केवल सरकारी नौकरी से ही नहीं बनता, बल्कि हमारे युवा साथियों ने अपनी रुचि और प्रतिभा के बल पर संभावनाओं का नया आकाश खोल दिया है।
–    आपमें जो संभावनाएं दिखाई पड़ी हैं, उन्हें साकार करने की दिशा में हम बहुत से प्रयास कर रहे हैं।
–    छत्तीसगढ़ के इतिहास में पहली बार खेल प्रशिक्षण की समग्र अधोसंरचना का निर्माण किया गया है, जिसके अंतर्गत 9 अकादमी स्थापित की जा चुकी है।
–    फुटबाल में बालिकाओं के लिए तथा कबड्डी, तीरंदाजी, एथलेटिक्स तथा हॉकी में बालक-बालिकाओं दोनों के लिए, इस तरह 9 अकादमियां शुरू हो चुकी हैं। टेनिस स्टेडियम और अकादमी भवन निर्माण के लिए राशि स्वीकृत की जा चुकी है।
–    जहां तक ‘मुख्यमंत्री खिलाड़ी प्रोत्साहन योजना’ का सवाल है तो मैं यह बताना चाहता हूं कि हमारे राज्य के युवा खिलाड़ियों को आवश्यक सुविधाएं नहीं मिलने के कारण वे देश की अन्य संस्थाओं के लिए खेलते हैं।
–    अब हम यह प्रयास कर रहे हैं कि हमारे खिलाड़ियों को प्रशिक्षण, उपकरण तथा अन्य खर्चों की व्यवस्था छत्तीसगढ़ शासन की तरफ से हो, जिससे वे भविष्य में अपने राज्य की ओर से ही राष्ट्रीय तथा अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में भाग ले सकें।
–    इसके लिए पर्याप्त वित्तीय प्रावधान किए जाएंगे।
–    विभिन्न औद्योगिक संगठनों की मदद से भी खेल और खिलाड़ियों की प्रगति के अवसर जुटाए जाएंगे।
–    छत्तीसगढ़ खेल विकास प्राधिकरण के गठन का काम शीघ्र पूरा करके, जल्दी ही इसका कामकाज शुरू कर दिया जाएगा।
–    आपने थिंक बी के बारे में अच्छा सवाल किया है। मैं बताना चाहता हूं कि यह पहल बस्तर के युवाओं के लिए है। ‘थिंक बी’ का फुलफॉर्म है- ‘टेक्नोलॉजी हब एंड इनोवेशन फॉर नॉलेज बस्तर’। इस परियोजना के अंतर्गत हम बस्तर के युवाओं को नवाचार, स्वरोजगार और उद्यमिता के लिए प्रोत्साहित करेंगे।
–    युवाओं को आर्थिक, तकनीकी, प्रबंधकीय, कानूनी आदि कई तरह की सहायता दी जाएगी।
–    युवाओं को ऑनलाइन तथा ऑफलाइन सामग्री, किताबें, ऑडियो-वीडियो प्रशिक्षण दिया जाएगा। मुझे यह कहते हुए बहुत खुशी है कि ‘थिंक बी’ परियोजना के लिए आईआईएम रायपुर, टाटा इंस्टीट्यूट ऑफ सोशल साइंसेज दिल्ली, ट्रिपल आईटी रायपुर तथा हिदायतुल्ला नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी, रायपुर के साथ एमओयू किया गया है।
–    हमारे आदिवासी अंचल के युवाओं को सही समय पर सही सलाह और सुविधाएं मिलने से उनके जीवन में चमत्कारिक बदलाव आएगा और वे बहुत बड़े पैमाने पर सफलता की सीढ़ियां चढ़ सकेंगे।
–    बादल का फुलफॉर्म है- ‘बस्तर अकादमी ऑफ डांस, आर्ट, लिटरेचर एण्ड लैंग्वेज’।
–    इस संस्था के माध्यम से एक ओर जहां विभिन्न आदिवासी कलाओं, लोकगीत, नृत्यकला, शिल्पकला, संस्कृति, भाषा, साहित्य, खान-पान, वेशभूषा का संरक्षण तथा विकास किया जाएगा।
–    वहीं हल्बी, गोंडी, धुरवा, भतरी जैसी बोली-भाषाओं से नई पीढ़ी के साथ ही पर्यटकों, शोधार्थियों को भी अवगत कराया जाएगा।
–    इससे युवाओं को अपनी माटी से जुड़े रहते हुए अपनी रुचि का काम भी मिलेगा।
–    बस्तर की बात चली है तो मैं यह कहना चाहता हूं कि बस्तर के युवाओं की बदौलत हम डेनेक्स रेडिमेड गॉरमेंट फैक्ट्री, काजू प्रसंस्करण इकाई, कॉफी उत्पादन से लेकर बंजर जमीन में पपीता उत्पादन तक के इंद्रधनुषी सपने पूरे कर पा रहे हैं। बस्तर के युवाओं ने यह साबित किया है कि थोड़ी मदद, थोड़ी सुविधाएं और थोड़ा मार्गदर्शन मिलने पर वे बस्तर को बदल सकते हैं।
–    स्वावलंबन की नई कहानी लिखकर नक्सलवाद को पीछे हटा सकते हैं।
–    विपरीत परिस्थितियों में भी इन उपलब्धियों के लिए मैं बस्तर के युवाओं को सलाम करता हूं।

एंकर    
–    माननीय मुख्यमंत्री जी, छत्तीसगढ़ के युवाओं को संगठित करने, सामूहिक रूप से समाज और प्रदेश में सकारात्मक बदलाव का आह्वान करते हुए, आपने राजीव युवा मितान क्लब    गठित करने की घोषणा की थी। इस संबंध में हमारे युवा साथियों की कुछ जिज्ञासाएं हैं।
    माननीय मुख्यमंत्री जी, नमस्कार, मैं के. प्रतीक पटनायक, जिला धमतरी से बोल रहा हूं। मैं जानना चाहता हूं कि राजीव युवा मितान क्लब से जुड़ने के लिए क्या कोई उम्र की सीमा है? हम किस तरह से इस क्लब में शामिल होकर रचनात्मक कार्यों में सहयोग कर सकते हैं? इस बात की भी जानकारी आपसे जानना चाहूंगा।

माननीय मुख्यमंत्री जी का जवाब
–    पटनायक जी, नमस्कार।
–    आपको बताना चाहूंगा कि प्रदेश के 13 हजार 269 नगरीय निकायों एवं ग्राम पंचायतों में राजीव युवा मितान क्लब गठित करने हेतु कार्ययोजना तैयार कर ली गई है। क्लब का पंजीयन, फर्म एण्ड सोसायटी एक्ट के तहत होगा। प्रत्येक क्लब में 20 से लेकर 40 तक युवा शामिल होंगे। जिनकी आयु 15 से 40 वर्ष के बीच हो। वर्षभर में इन क्लबों को 132 करोड़ 69 लाख रुपए की राशि अनुदान के रूप में प्रदान की जाएगी। इसकी पहली किस्त के रूप में 19 करोड़ 43 लाख रुपए की राशि जारी की जा चुकी है।
–    हम प्रदेश में युवाओं की शिक्षा-दीक्षा तथा रोजगार के अवसरों पर ध्यान देने के साथ ही एक संस्कारवान युवा पीढ़ी तैयार करने की पहल कर रहे हैं। मेरा मानना है कि पढ़ाई और अन्य गतिविधियों में सक्रिय होने के साथ ही युवा अवस्था में अपने परिवेश, अपने आसपास के लोगों की जिंदगी को करीब से देखने समझने और बेहतरी के लिए स्वस्फूर्त कदम उठाने की भावना बहुत जरूरी है। अपना नाम तथा अपनी कमाई का सपना तो एक दिन पूरा हो जाता है, लेकिन लोगों के दुख-दर्द में शामिल होने, अपनी संस्कृति तथा कमजोर तबकों की भलाई के लिए योगदान करने की भावना एक बीज की तरह युवाओं में डाली जानी चाहिए।
–    हम छत्तीसगढ़ में ऐसी ही संस्कारवान युवा पीढ़ी का विकास करना चाहते हैं।

एंकर
–     माननीय मुख्यमंत्री जी, छत्तीसगढ़ में विगत तीन वर्षों में रोजगार के अवसरों में बहुत बढ़ोतरी हुई है तथा निश्चित तौर पर इसका लाभ युवाओं को भी मिला है।
–    कुछ युवा श्रोता इस संबंध में आपसे बात करना चाहते हैं-
    कका पायलागी, जय जोहार, जय सियाराम मैं फगवा राम, ग्राम मडे़ली, जिला धमतरी ले बोलत हवं। राज्य के मुखिया अउ लोकप्रिय मुख्यमंत्री ल कका केहे म हम मन ल अपनापन महसूस होथे। आप मन के व्यक्तित्व ह अइसे हे, जइसे आप हमर परिवार के सदस्य हव। राज्य के मुखिया अउ हमर देश के अब्बड़ मयारू मुख्यमंत्री जब हम मन ल भतीजा-भतीजी कहिथे तब हम मन ल घरोबा लागथे। आदरणीय मुख्यमंत्री जी, सरकारी नौकरी के अलावा लोगन मन ल रोजगार दे के आपके काय योजना हे ? धन्यवाद।

माननीय मुख्यमंत्री जी का जवाब
–    धन्यवाद, भतीजा फगवा।
–    जब हमारे रिश्तों की डोर मजबूत होगी, जब हम परस्पर एक- दूसरे से अपने विचार साझा करेंगे तभी मैं जनता की जरूरत की योजनाएं बनाकर उसे लागू कर सकता हूं।
–    इसलिए मुझे आप लोगों से अनौपचारिक रूप से मिलने और बातें करने में अच्छा लगता है।
–    आपका घरोबा महसूस करना बहुत पसंद आया।
–    मुझे खुशी है कि पिछले तीन वर्षों में सरकारी, अर्द्धसरकारी कार्यालयों में  सीधी भर्ती के अलावा अन्य माध्यमों से भी भर्ती की गई है, जिसके कारण 4 लाख 65 हजार से अधिक लोगों को सरकारी और अर्द्धसरकारी कार्यालयों में कार्य करने का अवसर मिला है, इसके अलावा 30 हजार नौकरियां नए उद्योगों में मिली हैं। प्रदेश में निजी क्षेत्र में भी बड़े पैमाने पर नौकरियों का सृजन हुआ है।
–    हमने ग्रामीण अंचलों में युवाओं को निर्माण कार्यों से जोड़ने के लिए ई-श्रेणी पंजीयन कराया था, जिसके अंतर्गत 3 हजार से अधिक युवाओं ने पंजीयन कराया है, जिन्हें बिना टेंडर के निर्माण कार्य का ठेका दिया जा रहा है।
–    अभी तक लगभग 1 हजार पंजीकृत युवाओं को सड़क, भवन आदि निर्माण कार्य आवंटित किए जा चुके हैं।

एंकर
–     माननीय मुख्यमंत्री जी, आप युवाओं के सर्वांगीण विकास की बात करते हैं। राज्य में बहुत बड़ी आबादी की आजीविका का साधन आज भी कृषि है। बहुत लंबे अरसे का अनुभव रहा है कि हमारे युवा साथी कृषि को व्यवसाय की तरह अपनाने में हिचकते थे, लेकिन विगत तीन वर्षों में स्थिति-परिस्थितियां बदली हैं। इस संबंध में युवा साथियों के विचार आपके साथ साझा कर रहे हैं-
    माननीय मुख्यमंत्री जी, प्रणाम। मैं मुकेश कश्यप, ग्राम कुसुमतरा जिला मुंगेली से बोल रहा हूं। आपने निश्चित तौर पर राज्य गठन के बाद सर्वाधिक सरकारी नौकरियों का सृजन किया है। लेकिन जिस पैमाने पर रोजगार की जरूरत है। वह सिर्फ सरकारी नौकरी से पूरा नहीं हो सकता। छत्तीसगढ़ में परम्परागत रूप से रोजगार का सबसे बड़ा साधन कृषि क्षेत्र है। आप ऐसा क्या कर रहे हैं कि हमारे युवा साथी खेती-किसानी को ही अपनाएं। उनका आकर्षण खेती के लिए बढ़े। धन्यवाद।

माननीय मुख्यमंत्री जी का जवाब
–    धन्यवाद मुकेश। आपने बहुत अच्छा सवाल किया।
–    मेरा मानना है कि युवा खतरे के खिलाड़ी होते हैं। उनमें न तो लगन की कमी है और न ही वे मेहनत से डरते हैं। लेकिन गलत नीतियों के कारण डेढ़ दशक में खेती के काम को अंधेरी सुरंग बना दिया गया था, जहां से उजाले की किरण दूर-दूर तक दिखाई नहीं पड़ती थी। हमने इस सुरंग में भी उजाला बिखेरने का काम किया है। हमने खेती-किसानी को बेहतर आय और प्रतिभा दिखाने के बेहतर अवसरों से जोड़ दिया है।
–    एक ओर हमने छत्तीसगढ़ की फसलों को समर्थन मूल्य पर खरीदने की बेहतर व्यवस्था की है, पशुधन पालन को लाभ का जरिया बनाया है। वहीं दूसरी ओर ग्रामीण अर्थव्यवस्था, नई उपजों को बढ़ावा, उनकी प्रोसेसिंग, पैकेजिंग, मार्केटिंग जैसी व्यवस्थाओं को संस्थागत रूप दिया है। कृषि की वैज्ञानिक शिक्षा के साथ शोध, अनुसंधान और आविष्कार के लिए बड़े पैमाने पर व्यवस्थाएं सुनिश्चित की हैं।
–    राजीव गांधी किसान न्याय योजना, गोधन न्याय योजना, मुख्यमंत्री वृक्षारोपण प्रोत्साहन योजना, समर्थन मूल्य पर वनोपज खरीदी, वनोपज प्रसंस्करण, फूडपार्क की स्थापना जैसे प्रयासों से युवाओं को यह विश्वास हुआ है कि खेती-किसानी के काम में भी बहुत कुछ करने को है, जो नवीनता के अभाव में दिखाई नहीं पड़ता था।
–    हमने तीन वर्षों में आधा दर्जन कृषि और उद्यानिकी महाविद्यालय खोले जैसे बेमेतरा, जशपुर, धमतरी, अर्जुन्दा, लोरमी में। महात्मा गांधी के नाम पर दुर्ग जिले के पाटन विकासखण्ड के ग्राम सांकरा में उद्यानिकी एवं वानिकी विश्वविद्यालय की स्थापना की गई, जिसमें अब प्रवेश की प्रक्रिया शुरू की जाएगी।
–    कोदो, कुटकी, रागी जैसी फसलों के लिए कांकेर जिले में तथा विभिन्न कृषि उत्पादों की प्रोसेसिंग हेतु दुर्ग जिले में प्रोसेसिंग यूनिट स्थापित की जा रही है। 200 से अधिक विकासखंडों में फूडपार्क की स्थापना हेतु भूमि आवंटन किया जा चुका है।
–    बंजर जमीन को कृषि के लिए उपयोगी बनाने हेतु डीएमएफ तथा अन्य मदों से सहायता दी जा रही है।
–    वन अधिकार अधिमान्यता पत्र के माध्यम से आवंटित जमीनों में खेती के साथ ही, समर्थन मूल्य पर खरीदी की व्यवस्था की गई है।
–    कुल मिलाकर बरसों से कृषि क्षेत्र में बौद्धिक आदान या इंटलेक्चुअल इनपुट को रोककर रखा गया था, जिसे हमने चारों ओर से खोल दिया है। इस तरह अब युवाओं को यह दिखने लगा है कि छत्तीसगढ़ में खेती-किसानी अब लाभ का धंधा है। यही वजह है कि बहुत से किसान पुत्र तथा पुत्रियां उच्च शिक्षित होने के बावजूद अब खेती-किसानी तथा इससे जुड़े हुए कारोबार अपना रहे हैं।

एंकर
–    माननीय मुख्यमंत्री जी, शिक्षा की गुणवत्ता को लेकर भी सवाल उठाए जाते हैं, हालांकि इस दिशा में आपने बहुत ही सुविचारित ढंग से प्रयास किए हैं। इस संबंध में आए कुछ सवालों से आपको अवगत कराते हैं-
    मैं कुमारी राखी, नगर पंचायत, दल्लीराजहरा, जिला बालोद से बोल रही हूं। माननीय मुख्यमंत्री जी आपको सादर प्रणाम। मुख्यमंत्री जी, एक बात आपसे शेयर करना चाह रही हूँ कि बच्चों को अच्छी शिक्षा मिलेगी तभी उनकी बुनियाद मजबूत होगी। तभी वे एक सक्षम युवा के रूप में बड़ी प्रतियोगी परीक्षाओं में सफल हो सकेंगे। मैं चाहती हूँ कि प्रयासों के साथ, आप कुछ उपलब्धियों पर भी प्रकाश डालने का कष्ट करें। धन्यवाद !

माननीय मुख्यमंत्री जी का जवाब
–    राखी बिटिया, बहुत बढ़िया सवाल है।
–    देखिए, शिक्षा में दोनों चीजें महत्वपूर्ण हैं, पहला उसकी व्यापकता अर्थात सभी को शिक्षा का अवसर तथा अधिकार मिलना चाहिए।
–    वहीं दूसरी ओर शिक्षा उपयोगी, सार्थक हो इसके लिए शिक्षा का गुणवत्तापूर्ण होना आवश्यक है। हमने इन दोनों ही मोर्चों पर काम किया है।
–    कमजोर आर्थिक स्थिति वाले परिवार केे बच्चों को कक्षा 12वीं तक निःशुल्क शिक्षा दिलाने के लिए देश में पहली बार हमने शिक्षा के अधिकार के प्रावधान को बढ़ाया है।
–    बेटियों को स्नातकोत्तर तक निःशुल्क शिक्षा दिलाने की व्यवस्था की है।
–    शिक्षा की गुणवत्ता बढ़ाने के लिए स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम विद्यालय योजना लागू की गई है। हिन्दी माध्यम की शालाओं के लिए भी यह सुविधा उपलब्ध कराने की शुरुआत कर दी गई है।
–    स्कूल से लेकर कॉलेज तक सुविधाओं में वृद्धि की गई है। साथ ही कमजोर तबकों की सुविधाओं में भी वृद्धि की गई है जैसे स्कॉलरशिप, भोजन सहायता राशि आदि में बढ़ोतरी की गई ताकि वे अपनी पढ़ाई पूरी करके बेहतर रोजगार के अवसर हासिल कर सकें।
–    मुझे यह बताते हुए खुशी है कि हमने प्रयास आवासीय विद्यालयों की संख्या और गुणवत्ता भी बढ़ाई है, ताकि नक्सल प्रभावित जिलों और अनुसूचित क्षेत्रों के प्रतिभावान बच्चे देश के प्रतिष्ठित संस्थानों में उच्च शिक्षा हासिल कर सकें।
–    इन्हीं प्रयासों के कारण पहली बार नेशनल टैलेंट सर्च परीक्षा में छत्तीसगढ़ के 22 बच्चों ने सफलता पाई। वर्ष 2021 में आईआईटी में 27, एनआईटी एवं समकक्ष शैक्षणिक संस्थानों में 35, सीएस फाउंडेशन में 5, क्लैट में दो, इंजीनियरिंग कॉलेज में 61 विद्यार्थी सफल हुए हैं।
–    प्रयास संस्थाओं की संख्या बढ़कर अब 9 हो गई है तथा इसमें सीटों की संख्या बढ़कर 4 हजार 500 कर दी गई है। यहां के नतीजे न सिर्फ शत्-प्रतिशत आए हैं बल्कि सभी बच्चे 80 प्रतिशत से अधिक अंक लेकर उत्तीर्ण हुए हैं।
–    विशेष पिछड़ी जनजाति के शिक्षित युवाओं के लिए नियम को शिथिल करते हुए उन्हीं बसाहटों में शिक्षक के रूप में नौकरी दी गई है।
–    आदिवासी अंचलों में शिक्षा के प्रति रूझान बढ़ाने के लिए संभाग स्तर पर कनिष्ठ सेवा चयन बोर्ड का गठन कर स्थानीय युवाओं की भर्ती सुनिश्चित की गई है।
    मुख्यमंत्री जी नमस्कार। मैं मनीष कुमार, जिला जांजगीर-चांपा से बोल रहा हूं। छत्तीसगढ़ के युवा अलग-अलग क्षेत्रों में बड़ी-बड़ी उपलब्धियां हासिल कर रहे हैं और छत्तीसगढ़ का नाम रोशन कर रहे हैं। हम जानना चाहते हैं कि हमारे इन युवा साथियों की उपलब्धियां क्या आपकी जानकारी में है और आप इन्हें किस तरह देखते हैं?

माननीय मुख्यमंत्री जी का जवाब
–    नमस्कार मनीष जी।
–    हमारे युवाओं की उपलब्धियों और कीर्तिमानों की खबरें सुनकर मेरा यह विश्वास और अधिक मजबूत हो जाता है कि छत्तीसगढ़ के युवाओं में प्रतिभा की कोई कमी नहीं है। भरोसा और सुविधाओं से ही हम वास्तविक युवा क्रांति कर सकते हैं।
–    अबूझमाड़ के युवाओं ने मलखंभ प्रदर्शन में राष्ट्रीय स्तर पर अपना नाम रोशन किया है।
–    बैडमिंटन खिलाड़ी ईशांत ने स्कॉटलैंड में पदक जीतकर सिर्फ छत्तीसगढ़ ही नहीं बल्कि देश का नाम ऊंचा किया।
–    बस्तर में एक्टागुड़ा गांव की बेटी नैना सिंह धाकड़ ने एवरेस्ट फतह किया तो रायगढ़ की बिटिया याशी जैन ने यूरोप की सबसे ऊंची चोटी माउंट एल्ब्रस पर झंडा गाड़ा।
–    दिव्यांग पर्वतारोही चित्रसेन साहू ने बास्केटबॉल की राष्ट्रीय टीम में स्थान बनाया है।
–    गरियाबंद जिले की दुर्गा चन्द्राकर ने एसबीकेएफ इंटरनेशनल चैम्पियनशिप, नेपाल में स्वर्ण पदक हासिल किया तो जगदलपुर निवासी अर्जुन कुमार ने राष्ट्रीय शालेय एथलेटिक्स में स्वर्ण पदक जीता।
–    नेशनल व्हील चेयर रकबी चैम्पियनशिप में रायपुर जिले के विभीषण निषाद की कप्तानी में राजनांदगांव जिले के इंद्रप्रसाद सिन्हा और धीरेन्द्र सिन्हा और ऋषि मिश्रा, बालोद जिले के तामेश्वर निषाद की टीम ने कांस्य पदक जीता है। कराटे में पदमा ब्यौहार और टेकेश्वरी साहू ने थाई बॉक्सिंग की अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिता में स्वर्ण पदक जीता है।
–    खेलो इंडिया गेम्स में तैराकी प्रतियोगिता में शिवाक्ष साहू ने स्वर्ण पदक तथा उनके भाई रूद्राक्ष ने कांस्य पदक जीता है। इसी प्रतियोगिता में कबड्डी में बालिका टीम को कांस्य पदक मिला। जूडो में अनमोल ने कांस्य पदक जीता, भारोत्तोलन में ज्ञानेश्वरी यादव ने रजत पदक हासिल किया है।
–    रंजीता खलखो का चयन भारत की मिनी गोल्फ वर्ल्ड कप टीम के लिए हुआ है।
–    थाईलैण्ड में आयोजित मिसेज एशिया प्रतियोगिता में भिलाई की अवंतिका श्रीवास्तव विजेता बनीं।
–    हमारे युवाओं ने शिक्षा के क्षेत्र में भी कमाल किया है और राष्ट्रीय स्तर पर अपनी धमक बनाई है। रायपुर निवासी भ्रमर जैन ने सीए फाइनल की परीक्षा में देश में पहला स्थान हासिल किया है।
–    नेशनल आर्टिफेशियल इंटलिजेंस फॉर यूथ प्रोग्राम के लिए महासमुन्द जिले के शासकीय कुलदीप निगम उच्चतर माध्यमिक विद्यालय नर्रा के सात छात्र-छात्राओं वैभव देवांगन, धीरज यादव, घनश्याम निषाद, यमुना यादव, हिमांशी देवांगन, परमेश्वरी यादव, गोपिका देवांगन के अलावा शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय लेंजवारा, जिला बेमेतरा की छात्रा अंजलि निर्मलकर और गर्ल्स हायर सेकेण्डरी स्कूल, रायपुर की छात्रा अंकिता नामदेव शामिल हैं।
–    मुंगेली जिले के छात्र नितिश साहू को घुरुवा योजना के प्रोजेक्ट पर राष्ट्रीय पुरस्कार मिला है।
–    रायपुर स्थित आरडी तिवारी स्वामी आत्मानंद स्कूल के छात्र आदित्य चौरसिया को पेंटिंग के लिए भारत सरकार द्वारा पुरस्कृत किया गया है ।
–    यूपीएससी के ताजा नतीजों में सिमी करण, उमेश प्रसाद गुप्ता, सूथान, आयुष खरे, जितेन्द्र यादव, योगेश पटेल ने सफलता हासिल की।
–    छत्तीसगढ़ में पहली बार धमतरी में वायुसेना भर्ती रैली का आयोजन किया गया जिसमें प्रदेश के 208 युवाओं का चयन हुआ है।
–    अम्बिकापुर के रंजन सिंह ने नौसेना अकादमी के रोबोटिक्स कोर्स में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया तथा वर्ष के ओवरऑल टापर बने जिसके लिए उन्हें राष्ट्रपति स्वर्ण पदक से नवाजा गया।
–    दुर्ग की सृष्टि बाफना इसरो की वैज्ञानिक चयन परीक्षा में प्रथम स्थान पर आई।
–    कोरबा के विकास अग्रवाल को गगनयान की नई तकनीक विकसित करने वाली टीम में चुना गया।
–    विभिन्न प्रतियोगिताओं में हमारे प्रदेश के युवाओं का उत्कृष्ट प्रदर्शन बताता है कि अब हमारे युवा साथी पूरे दमखम के साथ  मैदान में उतर चुके हैं और राष्ट्रीय तथा अंतरराष्ट्रीय स्तर पर छत्तीसगढ़ का परचम लहरा रहे हैं। युवा ऊर्जा और युवा उम्मीदों से नवा छत्तीसगढ़ दमकने लगा है। यह सकारात्मक चेतना की क्रांति है, जो लगातार आगे बढ़ते जाएगी और नवा छत्तीसगढ़ गढ़ती जाएगी।

एंकर
–    माननीय मुख्यमंत्री जी, एक बार फिर कोविड-19 का संक्रमण पूरी दुनिया में बढ़ रहा है। इसकी रोकथाम के लिए प्रयास शुरू हो गए हैं। नए वेरिएंट ओमिक्रॉन को लेकर लोगों में जिज्ञासा है। इस संबंध आपके विचार उपयोगी होंगे।

माननीय मुख्यमंत्री जी का जवाब
–    कोरोना के नए वेरिएंट को ओमिक्रॉन के नाम से पहचाना गया है। लेकिन इसके भी शुरुआती लक्षण सर्दी, बुखार, गले में खराश जैसे, पहले की तरह ही हैं।
–    हमारा पुराना अनुभव है कि कोरोना को लेकर किसी भी तरह की दहशत नहीं होनी चाहिए। सबसे पहले तो इतनी सावधानी बरतनी चाहिए कि कोरोना हो ही नहीं।
–    सरकार की ओर से हरसंभव तैयारी की गई है। लेकिन प्रत्येक व्यक्ति को सचेत रहकर निजी सावधानी बरतनी आवश्यक है।
–    नाक, मुंह ढंककर रखें। फेस मास्क को सही ढंग से लगाएं।
–    साबुन, पानी से हाथ धोते रहें।
–    भीड़ वाली जगह से बचें।
–    फिजिकल डिस्टेंसिंग रखकर ही किसी से मेल-मुलाकात करें।
–    हमने जिला प्रशासन को निर्देशित किया है कि स्थानीय परिस्थितियों के अनुसार सार्वजनिक प्रतिबंधात्मक उपाय किए जाएं।
–    कोरोना प्रोटोकाल का पालन करें।
–    कोरोना से बचने के लिए टीके का दोनों डोज लगवाना जरूरी है। जिन्होंने पहला डोज लेकर छोड़ दिया है वे दूसरा डोज पूरा करें। 15 से 18 वर्ष के उम्र के किशोर-किशोरियों के लिए टीकाकरण शुरू हो गया है और मुझे खुशी है कि हमारे नवयुवा बड़ी संख्या में टीका लगवा रहे हैं। मैं चाहूंगा कि यह अभियान शत-प्रतिशत सफल हो।
–    इस माह 14 जनवरी को मकर संक्रांति तथा पोंगल का त्यौहार है। 17 जनवरी को छेरछेरा पुन्नी, शाकम्भरी जयंती, 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस है। इसके लिए मैं आप सबको अग्रिम बधाई और शुभकामनाएं देता हूं।
–    20 जनवरी को अमर शहीद गैंद सिंह की पुण्यतिथि, 21 जनवरी को हेमू कालाणी शहीद दिवस, 23 जनवरी को नेताजी सुभाषचन्द्र बोस की जयंती है तथा 30 जनवरी को राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की पुण्यतिथि है। मैं इन महान विभूतियों को सादर नमन करता हूं और युवा साथियों से अपील करता हूं कि इनके आदर्शों का मनन करें और अपने जीवन में अपनाएं।
धन्यवाद, जय-हिन्द, जय छत्तीसगढ़

एंकर
–    श्रोताओं, लोकवाणी का आगामी प्रसारण 13 फरवरी, 2022 को होगा, जिसमें माननीय मुख्यमंत्री ‘सुगम उद्योग, व्यापार-उन्नत कारोबार’ विषय पर चर्चा करेंगे। आप इस विषय पर अपने विचार सुझाव और सवाल दिनांक 27, 28 और 29 जनवरी, 2022 को दिन में 3 बजे से 4 बजे के बीच फोन करके रिकार्ड करा सकते हैं। फोन नम्बर इस प्रकार हैं। 0771-4003482, 4003483 और 4003484।
–    और इसी के साथ यह कार्यक्रम सम्पन्न होता है, नमस्कार, जय-जोहार।

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