धर्म

गुप्त नवरात्रि के आखिरी दिन बन रहे कई शुभ योग, सुख-समृद्धि के लिए कर लें ये उपाय

30 जनवरी 2023, दिन सोमवार को माघ गुप्त नवरात्रि का समापन हो रहा है। इसकी शुरुआत 22 जनवरी को हुई थी। 30 जनवरी को नवमी तिथि है। गुप्त नवरात्रि की नवमी तिथि बेहद खास मानी गई है। इस दिन देवी दुर्गा के नौवें स्वरूप मां सिद्धिदात्री की पूजा की जाती है। नवरात्रि पूजन के नौवें दिन मां सिद्धिदात्री की उपासना के साथ ही गुप्त नवरात्रि का समापन हो जाता है। नवमी के दिन विधि-विधान से पूजा के साथ ही हवन किया जाता है। साथ ही देवी मां को भोग में हलवा-पूरी और खीर का भोग लगाया जाता है। सुख, धन, समृद्धि पाने के लिए भी गुप्त नवरात्रि का आखिरी दिन बेहद खास माना जाता है। इस दिन कुछ उपाय करने से मां सिद्धिदात्री सभी मनोरथ सिद्ध करती हैं। आइए जानते हैं इस दिन किए जाने वाले उपायों के बारे में…

गुप्त नवरात्रि 2023 नवमी तिथि मुहूर्त
हिंदू पंचांग के अनुसार, गुप्त नवरात्रि के नवमी तिथि की शुरुआत 29 जनवरी 2023 को सुबह 09 बजकर 05 मिनट से हो रही है। अगले दिन 30 जनवरी 2023 को सुबह 10 बजकर 11 मिनट पर समाप्त होगी। उदया तिथि को देखते हुए 30 जनवरी को नवमी तिथि मनाई जाएगी।

गुप्त नवरात्रि नवमी तिथि के उपाय
शत्रु पर विजय पाने के लिए
ज्योतिष के अनुसार, गुप्त नवरात्रि के नौवें दिन मां सिद्धिदात्री की पूजा रात्रि में करने से दोगुना फल मिलता है। यदि शत्रु बाधा से परेशान हैं, तो रात्रि में एक लाल कागज में 'ह्रीं क्लीं ऐं सिद्धये नम:' लिखकर अपनी मनोकामना कहें और कागज देवी सिद्धिदात्री के चरणों में अर्पित कर दें। अगले दिन इस कागज को बहते पानी में प्रवाहित कर दें। मान्यता है कि इससे दुश्मन पर विजय प्राप्त होगी।

दांपत्य जीवन से तनाव दूर करने के लिए
नवमी तिथि के दिन सुबह स्नान के बाद गणपति की पूजा करें। फिर मां दुर्गा की तस्वीर के समक्ष दो मुखी घी दीपक लगाकर मां सिद्धिदात्री का स्मरण करते हुए उन्हें कुमकुम, सिंदूर, लाल फूल, चढ़ाएं और फिर 108 बार ह्रीं क्लीं ऐं सिद्धये नम: मंत्र का जाप करें। इससे आपके वैवाहिक जीवन में चल रही परेशानियां दूर होंगी।

संतान सुख और ग्रह बाधा के लिए
गुप्त नवरात्रि में नवमी के दिन मां सिद्धिदात्री को खीर का भोग लगाएं। इसके बाद 9 कन्याओं को खीर का प्रसाद बांट दें। माना जाता है कि ये उपाय वंश में वृद्धि करता है। साथ ही मां सिद्धिदात्री की कृपा से ग्रहों के अशुभ प्रभाव नहीं झेलने पड़ते।

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